Aloo Bukhara Juice in Hindi: आलूबुखारा एक विशेष खाद्य पदार्थ है जिसे ताजे और सूखे रूप में इस्तेमाल किया जाता है। लेकिन इसके अलावा आप आलूबुखारा के जूस का उपयोग भी कर सकते हैं। आलूबुखारा के रस के फायदे आपको कई स्वास्थ्य समस्याओं से छुटकारा दिला सकते हैं। इसको पीने के फायदे मुख्य रूप से कब्ज का उपचार करने में होते हैं। इसके अलावा आलूबुखारा जूस के लाभ हृदय स्वास्थ्य, रक्त परिसंचरण, यकृत की बीमारियां, हड्डियों की कमजोरी और मस्तिष्क स्वास्थ्य के लिए होते हैं। ये सभी लाभ आलूबुखारे जूस के औषधीय गुणों के कारण मुमकिन हैं। इस लेख में हम आपको आलूबुखारे जूस के फायदे और नुकसान संबंधी जानकारी बता रहे हैं। जिन्हें जानकर आप भी अपनी सेहत के लिए आलूबुखारा के जूस का प्रयोग करने के बारेमें सोच सकते हैं। आइए इन्हें जानते है।
आलूबुखारा बहुत ही प्रसिद्ध और पौष्टिक फल है जो गर्मीयों के मौसम में मिलता है। पौष्टिक होने के कारण यह बहुत से लोगों द्वारा पसंद किया जाता है क्योंकि इसके हेल्थ बेनिफिट्स बहुत अधिक होते हैं। यही कारण है आलूबुखारा के जूस का भी आज के समय व्यायाक उपयोग किया जा रहा है। यह फल रोसेस (Rosaceae) वनस्पिति परिवार से संबंधित है। यह फल स्वास्थ्य के नजरिये से बहुत ही लाभकारी होता है। इसमें बहुत से पोषक तत्व और खनिज पदार्थ अच्छी मात्रा में होते हैं, जो इसे हमारे लिए बहुत ही लाभकारी बनाते हैं। आप भी आलूबुखारे के जूस के लाभ प्राप्त कर सकते हैं। आइए जाने आलूबुखारा जूस के औषधीय गुण और पोषक तत्वों के बारे में।
स्वास्थ्य संबंधी लाभ प्राप्त करने के लिए आलूबुखारे का जूस एक बेहतरीन विकल्प हो सकता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि प्रून जूस में कई प्रकार के पोषक तत्व और खनिज पदार्थों की उच्च मात्रा होती है। आलूबुखारे जूस में विटामिन ए, विटामिन सी, विटामिन ई और विटामिन K की उच्च मात्रा होती है। इसके अलावा इस जूस में नियासिन (Niacin), थायमिन (Thiamine), राइबोफ्लेविन (Riboflavin), विटामिन बी6 और फोलेट जैसे अन्य पोषक तत्व भी होते हैं। आलूबुखारा जूस की 100 ग्राम मात्रा में पाये जाने वाले अन्य पोषक तत्वों कैलोरी – 71 और कार्बोहाइड्रेट – 18 ग्राम भी शामिल है। इसमें मौजूद खनिज पदार्थों में पोटेशियम, सोडियम, कैल्शियम और आयरन भी होते हैं। आलूबुखारे के जूस में किसी प्रकार के फैटी एसिड और कोलेस्ट्रॉल नहीं होते हैं।
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दुनिया में सबसे पौष्टिक पीने वाले पेय के रूप में आलूबुखारा जूस का उपयोग किया जाता है। प्रून जूस में पोषक तत्वों और औषधीय गुणों की भरपूर मात्रा होती है। यदि संयम या कम मात्रा में नियमित रूप से आलूबुखारा के जूस का सेवन किया जाये तो यह कई संभावित स्वास्थ्य लाभ दिला सकता है। यदि आप अपनी सेहत को लेकर चिंतित हैं तो आलूबुखारा जूस का सेवन कर सकते हैं। यह गर्मी के मौसम में ठंडक दिलाने और ऊर्जा प्राप्त करने का सबसे अच्छा विकल्प हो सकता है।
पाचन या कब्ज जैसी समस्या के लिए आलूबुखारा जूस के लाभ अन्य किसी खाद्य पदार्थ से अधिक होते हैं। आलूबुखारे के रस के फायदे पाचन तंत्र को स्वस्थ रखने और पाचन प्रक्रिया को उत्तेजित करने में सहायक होते हैं। जिन लोगों को कब्ज या अपच जैसी समस्या होती है वे प्रतिदिन 1 गिलास आलूबुखारा जूस का सेवन कर सकते हैं। प्रून जूस इन सभी समस्याओं को दूर करने का प्राकृतिक उपाय हो सकता है। आलूबुखारा जूस के औषधीय गुण में फाइबर और सोर्बिटोल होते हैं। ये दोनों ही घटक पाचन संबंधी समस्याओं को रोकने में प्रभावी योगदान दे सकते हैं। नियमित रूप से आलूबुखारा जूस का सेवन करना आपको बवासीर (hemorrhoids) जैसी गंभीर समस्या से भी बचा सकता है। (1)
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जर्नल ऑफ न्यूट्रीशनल साइंस एंड विटामिननोलॉजी ने आलूबुखारा के अर्क पर अध्ययन किया। इस अध्ययन से पता चलता है कि आलूबुखारे के जूस में इथेनॉल यौगिक होते हैं। इन यौगिकों में कैंसर कोशिकाओं के विकास को रोकने और उन्हें नष्ट करने की क्षमता होती है। आलूबुखारा रस के इस एंटी-कैंसर गुण के कारण यह कोलन कैंसर की संभावना को कम करने में मदद कर सकता है। यदि आप भविष्य में कैंसर की संभावनाओं को कम करना चाहते हैं तो नियमित आधार पर आलूबुखारा के जूस का उपयोग किया जा सकता है। (2)
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शरीर में लाल रक्त कोशिकाओं की कमी के कारण एनीमिया की समस्या हो सकती है। जिसे सामान्य भाषा में खून की कमी भी कहा जाता है। लेकिन एनीमिया के लक्षणों को कम करने में आलूबुखारा जूस की मदद ली जा सकती है। प्रूस जूस में आयरन की उच्च मात्रा होती है। एनीमिया होने का प्रमुख कारण शरीर में आयरन की कमी होती है। आप अपने शरीर में आयरन की कमी को दूर करने के लिए आप अपने दैनिक आहार में आलूबुखारा जूस का सेवन कर सकते हैं। आलूबुखारा जूस पीने के फायदे एनीमिया के अन्य लक्षणों जैसे थकान, कमजोरी और अवसाद आदि को भी कम करने में सहायक हो सकता है। (3)
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हृदय रोगों की संभावना को कम करने के घरेलू उपाय के रूप में आलूबुखारा जूस का इस्तेमाल किया जा सकता है। प्रून जूस में एंटीऑक्सीडेंट की भरपूर मात्रा होती है जो खराब कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करने में सहायक होते हैं। खराब कोलेस्ट्रॉल हृदय संबंधी समस्याओं का प्रमुख कारण होता है। आलूबुखारा के जूस में एक प्रमुख घटक के रूप में पोटेशियम भी होता है। पोटेशियम की उचित मात्रा हृदय स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए आवश्यक होती है। यदि आप भी अपने हृदय को स्वस्थ रखना चाहते हैं तो अपने दैनिक आहार में आलूबुखारा से प्राप्त रस को शामिल कर सकते हैं। आलूबुखारा जूस के गुण हृदय के लिए टानिक का कम कर सकते हैं। (4)
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आंखें हमारे शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग हैं जिन्हें स्वस्थ रखना आवश्यक है। लेकिन शारीरिक कमजोरी और पोषक तत्वों की कमी के कारण उम्र बढ़ने के दौरान देखने की क्षमता में कमी हो सकती है। आप अपनी आंखों को स्वस्थ बनाए रखने के लिए आलूबुखारा जूस का फायदा प्राप्त कर सकते हैं। आलूबुखारा के जूस में विटामिन ए की उच्च मात्रा होती है। विटामिन ए हमारी आंखों को स्वस्थ रखने में मदद करता है। 1 गिलास आलूबुखारा जूस का सेवन करने पर यह हमें दैनिक आवश्यकता का लगभग 3 प्रतिशत विटामिन ए उपलब्ध करा सकता है। विटामिन ए की कमी के कारण रतौंधी, आंखों का सूखना, धब्बेदार अध: पतन और मोतियाबिंद होने की संभावना बढ़ जाती है। आप इन सभी संभावनाओं को रोकने के लिए आलूबुखारा जूस का प्रयोग कर सकते हैं।
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हम सभी जानते हैं कि उच्च कोलेस्ट्रॉल हृदय और रक्त परिसंचरण संबंधी समस्याओं का कारण होता है। उच्च कोलेस्ट्रॉल संबंधी समस्याओं को दूर करने के लिए आलूबुखारा जूस फायदेमंद हो सकता है। क्योंकि आलूबुखारा के जूस में घुलनशील फाइबर (soluble fibre) और एंटीऑक्सीडेंट की उच्च मात्रा होती है। ये दोनों ही घटक शरीर में खराब कोलेस्ट्रॉल (LDL cholesterol) के स्तर को कम करने में मदद कर सकते हैं। नियमित रूप से आलूबुखारा जूस का सेवन करना आपको एथेरसलेरोसिस (atherosclerosis) की समस्या से भी बचा सकता है। एथेरसलेरोसिस मुख्य रूप से धमनियों में वसा और कोलेस्ट्रॉल के जमाव के कारण होता है जो रक्त परिसंचरण बाधा उत्पन्न करता है। इसके अलावा शरीर खराब कोलेस्ट्रॉल की उच्च मात्रा हार्ट फेल, हाई ब्लड प्रेशर और स्ट्रोक आदि का कारण भी बन सकता है। आप इन सभी समस्याओं से छुटकारा पाने के लिए आलूबुखारा के जूस के लाभ प्राप्त कर सकते हैं। (5)
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आस्टियोपोरोसिस हड्डियों से संबंधित एक स्वास्थ्य समस्या है जो उम्र बढ़ने के दौरान अक्सर देखी जाती है। लेकिन आलूबुखारा जूस के फायदे आपकी मदद कर सकते हैं। जो आपको ऑस्टियोपोरोसिस के लक्षणों से छुटकारा दिला सकते हैं। प्रून जूस में विभिन्न प्रकार के खनिज पदार्थ और पोषक तत्वों की उच्च मात्रा होती है। जो हड्डियों के घनत्व को बनाए रखने में सहायक होते हैं। यदि आप भी अपनी हड्डियों को मजबूत बनाना चाहते हैं तो आलूबुखारा के जूस का सेवन किया जा सकता है। (6
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प्रून जूस में पोषक तत्वों और खनिज पदार्थों की उच्च मात्रा होती है। साथ ही नियमित सेवन करने के दौरान यह लेप्टिन के स्तर को बढ़ाने में सहायक होता है। लेप्टिन (Leptin) वसा युक्त ऊतकों द्वारा निर्मित प्रोटीन होता है। यह एक हार्मोन है जो मस्तिष्क को यह संकेत देता है कि पेट भरा हुआ है। इसके अलावा आलूबुखारा जूस में मौजूद फाइबर भी भूख को दबाने में मदद करते हैं। इसलिए आलूबुखारा जूस का सेवन करना मोटापा घटाने के घरेलू उपाय में भी मदद कर सकता है। जो लोग अपना वजन कम करना चाहते हैं उनके लिए प्रून जूस बहुत ही फायदेमंद औषधी साबित हो सकता है। (7)
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नियमित रूप से आलूबुखारे के जूस का सेवन करना मेटाबॉलिज्म को बढ़ाने में मदद कर सकता है। आलूबुखारा के रस में विटामिन बी की अच्छी मात्रा होती है। जिसके कारण यह चयापचय प्रणाली को बेहतर बनाने में सहायक हो सकता है। उचित चयापचय प्रणाली के कारण एंजाइम और हार्मोन उत्पादन को विनियमित करने में मदद मिल सकती है। जिससे जन्म दोषों (birth defects) को कम करने और प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने की क्षमता में वृद्धि होती है। जिन लोगों की चयापचय प्रणाली कमजोर होती है उनके लिए आलूबुखारा जूस का सेवन करना फायदेमंद साबित हो सकता है।
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ताजे प्रून या आलूबुखारा से बने जूस में आयरन की उच्च मात्रा होती है। यह खनिज पदार्थ लाल रक्त कोशिकाओं के उत्पादन को बढ़ावा देने में अहम योगदान देता है। नियमित रूप से आलूबुखारे के जूस का सेवन आपके रक्त परिसंचरण को बेहतर बनाने में मदद कर सकता है। जिससे शरीर के सभी अंगों में पर्याप्त ऑक्सीजन और पोषक तत्वों का प्रवाह होता है। इस तरह से आप संपूर्ण शारीरिक स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए विकल्प के रूप में आलूबुखारा के जूस का उपयोग कर सकते हैं। (8)
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लीवर संबंधी बीमारियों की रोकथाम करने के लिए आप आलूबुखारा जूस की मदद ले सकते हैं। प्रून जूस आपके लीवर में दो प्रमुख एंजाइमों के उत्पादन को बढ़ावा देने में मदद कर सकता है। जिसमें एलेनिन एमिनोट्रांस्फरेज (alanine aminotransferase) भी शामिल है। यह एंजाइम आपके शरीर में भोजन को ऊर्जा में परिवर्तित करता है। लेकिन लीवर खराब होने पर इस एंजाइम का स्तर रक्त में बढ़ जाता है। लेकिन ऐसी स्थिति में नियमित रूप से आलूबुखारा का सेवन करने पर यह इस एंजाइम के स्तर को विनियमित करने में मदद कर सकता है। जिससे यकृत स्वास्थ्य को बढ़ावा मिलता है। आप हेपेटाइटिस जैसी स्थितियों को नियंत्रित करने के लिए भी आलूबुखारा जूस का इस्तेमाल कर सकते हैं। (9)
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आयरन की कमी होने से बालों का झड़ना, शुष्क और रूखे होना जैसी समस्याएं हो सकती है। आलूबुखारा जूस पीने के फायदे आपको बालों की इन समस्याओं से बचा सकते हैं। क्योंकि प्रून जूस में आयरन की उच्च मात्रा होती है जो बालों के समग्र स्वास्थ्य को बढ़ावा देने में अहम भूमिका निभाता है। इसके अलावा आलूबुखारा के जूस में विटामिन बी, विटामिन सी भी होते हैं जो आपके बालों के विकास के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण होते हैं। यदि आप भी अपने बालों की सुरक्षा चाहते हैं तो आलूबुखारे के जूस को अपने आहार का हिस्सा बना सकते हैं।
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आलूबुखारा जूस में मौजूद विटामिन और खनिज पदार्थ त्वचा के स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में सहायक होते हैं। नियमित रूप से आलूबुखारा के औषधीय जूस का सेवन करना उम्र बढ़ने के लक्षणों को भी कम करने में सहायक होता है। यह त्वचा में झुर्रियों के विकास को रोकने में सहायक है। आप भी अपने चेहरे की त्वचा को सुंदर, चमकदार और झुर्रियों रहित बनाने के लिए आलूबुखारा के जूस का सेवन कर सकते हैं।
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आलूबुखारा का जूस स्वास्थ्य के लिए बहुत ही अच्छा होता है। आप इस जूस को अपने घर पर ही तैयार कर सकते हैं। प्रून जूस रेसिपी बहुत ही आसान है। आइए जाने आलूबुखारा का जूस बनाने की विधि क्या है।
फ्रेश होममेड प्रून जूस की 1 गिलास मात्रा का सेवन करना आपको पेट संबंधी सभी समस्याओं से बचा सकता है। इस जूस को बनाने के लिए आपको चाहिए।
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इसका जूस बनाने के लिए आप सूखे आलूबुखारा के छिलके और बीजों को हटा दें। इसके बाद पानी को उबालें और इस गर्म पानी में आलूबुखारा को रात भर भीगने दें। लगभग 12 से 15 घंटे के बाद आप इन्हें पानी से बाहर निकालें और ब्लेंडर में ब्लेंड करें। इसके बाद आप इस मिश्रण में पानी मिलाएं। अधिक स्वादिष्ट बनाने के लिए आप इस पेय में नींबू का रस मिला सकते हैं। आपका आलूबुखारे का जूस तैयार है। आप इसे फ्रिज में ठंडा होने के लिए रख दें और कुछ देर बाद इसका स्वाद लें।
आलूबुखारा जूस के अलावा आप क्रैनबेरी और आम के साथ मिलाकर प्रून जूस स्मूदी भी बना सकते हैं। यह न केवल स्वादिष्ट होता है बल्कि आंतों के लिए भी फायदेमंद हो सकता है।
आलूबुखारा के जूस का सेवन करना स्वास्थ्य के लिए अच्छा होता है। लेकिन आलूबुखारा जूस का सेवन करने से पहले इससे होने वाले नुकसान संबंधी जानकारी होना भी आवश्यक है। प्रून जूस पीने के कुछ साइड इफैकट्स भी हो सकते हैं। जैसे दस्त और पेट संबंधी अन्य समस्याएं।
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बहुत से स्वास्थ्य सलाहकार गर्भवती महिलाओं के लिए आलूबुखारे के जूस को स्वस्थ आहार बताते हैं। गर्भावस्था के दौरान कब्ज के लिए विशेष रूप से आलूबुखो के जूस का इस्तेमाल किया जा सकता है। इस दौरान यह प्राकृतिक पेय आंतों के स्वास्थ्य को बढ़ावा देने में मदद करता है। जिससे बवासीर और अन्य संबंधी समस्याओं को रोकने में मदद मिल सकती है। चूंकि आलूबुखारा में अन्य बहुत से पोषक तत्व उच्च मात्रा में होते हैं जो गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को लाभ दिला सकते हैं। लेकिन फिर भी इस दौरान अधिक मात्रा में प्रून जूस का सेवन महिलाओं की कुछ समस्याओं को बढ़ा सकता है। क्योंकि इस पेय पदार्थ में रेचक (laxative) गुण होते हैं। इसलिए गर्भावस्था के दौरान आलूबुखारे के जूस का सेवन करने से पहले अपने डॉक्टर की सलाह लेना आवश्यक है।
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