Cesarean Delivery Ke Fayde Aur Nuksan सिजेरियन डिलीवरी के बहुत से फायदे और नुकसान होते है। सी सेक्शन डिलीवरी में बच्चा माँ के पेट से प्राकृतिक तरीके से नहीं सर्जरी द्वारा पैदा किया जाता है। पर क्या आप जानती है सिजेरियन डिलीवरी करवाने में भले ही दर्द नहीं सहना पड़ता हो पर सी सेक्शन डिलीवरी के बाद बच्चे और माँ पर इसके बहुत सारे नुकसान दिखाई देने लगते है। यह तकनीक उन गर्भवती महिलाओं के लिए सही है जिन्हें किसी स्वास्थ्य समस्या की वजह से योनी प्रसव करने में परेशानी हो रही हो या योनी प्रसव की वजह से उनके बच्चे की जान को खतरा हो। परन्तु आजकल कई महिलाएं शौकिया तौर पर सिजेरियन डिलीवरी करवाती है ताकि उन्हें दर्द ना झेलना पड़े पर वह महिलाएं यह नहीं जानती की आगे चलकर सिजेरियन डिलीवरी के कितना सारे नुकसान और जोखिम है।
इसलिए आज इस लेख में हम आपको सिजेरियन डिलीवरी से माँ और बच्चे को होने वाले फायदे और नुकसान के बारे में बतायेंगे।
विषय सूची
1. सिजेरियन डिलीवरी के फायदे – Cesarean Delivery Benefits In Hindi
2. सिजेरियन डिलीवरी से होने वाले नुकसान – C Section Delivery Side Effects In Hindi
3. सिजेरियन डिलीवरी से माँ को होने वाले नुकसान – Cesarean Delivery Se Ma Ko Hone Wale Nuksan In Hindi
4. सी सेक्शन डिलीवरी से बच्चे को होने वाले नुकसान – Cesarean Delivery Side Effects For Baby In Hindi
सी सेक्शन डिलीवरी या सिजेरियन डिलीवरी के कुछ मामलों में फायदे भी है, क्योकि कभी कभी गर्भवती महिला और उसके होने वाले बच्चे के साथ कोई स्वास्थ्य समस्या उत्पन्न हो जाये तो सी सेक्शन से डिलीवरी करना ही उचित विकल्प होता है। तो आईये जाने की कुछ जटिल मामलों में सिजेरियन डिलीवरी के क्या फायदे है, सी सेक्शन के फायदों में शामिल है-
(और पढ़ें – सिजेरियन डिलीवरी के कारण, लक्षण, प्रक्रिया और रिकवरी)
अक्सर यह देखा जाता है की सिजेरियन डिलीवरी के जितने फायदे नहीं होते है, उससे ज्यादा सी सेक्शन के नुकसान होते है। ऐसे बहुत सारे नुकसान है जो सिजेरियन डिलीवरी के बाद माँ और बच्चे दोनों के लिए खतरनाक हो सकते है, जिनमें शामिल है-
भले ही सिजेरियन डिलीवरी के कई फायदे होते है लेकिन इसके नुकसान भी कम नहीं है। आइये सिजेरियन डिलीवरी के नुकसानों को विस्तार से जानते हैं।
सी-सेक्शन से बच्चे को जन्म देने वाली माताओं को दर्द निवारक दवाओं की बहुत आवश्यकता होती है और जो महिलायें बच्चे को योनि के माध्यम से जन्म देती हैं, उन महिलाओं की तुलना में ऑपरेशन डिलीवरी करवाई हुई महिलाओं को ठीक होने में अधिक समय लगता है। सी-सेक्शन डिलीवरी के बाद महिलाओं में घाव (जहां टांके लगे होते हैं) और पेट में तकलीफ की शिकायत होना आम बात है। ऐसी महिलाओं को पेट सम्बन्धी परेशानी कभी-कभी एक महीने से अधिक समय तक रहती है।
(और पढ़ें – प्रसव (डिलीवरी) के बाद टांके और उनकी देखभाल)
सी-सेक्शन सर्जरी के दौरान, सामान्य से अधिक रक्तस्राव होने पर मां को बहुत अधिक रक्त की कमी होने की संभावना हो सकती है। यदि सिजेरियन डिलीवरी के समय महिला को भारी रक्तस्राव होता है, तो रक्त आधान (Blood Transfusion) की भी आवश्यकता पड़ सकती है।
(और पढ़ें – सिजेरियन डिलीवरी के टांकों में संक्रमण)
सिजेरियन डिलीवरी के लिए जाने से पहले, संक्रमण की संभावना को कम करने के लिए माँ को एंटीबायोटिक्स (Antibiotics) दिया जाता है। हालांकि, महिला को संक्रमण होने का खतरा तब भी रह सकता है और यह संक्रमण होना सी-सेक्शन डिलीवरी का एक बहुत ही सामान्य दुष्प्रभाव है। महिला के घाव में से पस निकल सकता है और घाव लाल पड़ सकता है, और साथ ही घाव में बहुत ज्यादा दर्द भी महसूस होता है। यह समस्या उन महिलाओं को अधिक होती है जिनका वजन अधिक होता हैं या जो महिला डायबिटिक होती हैं।
एंडोमेट्रैटिस (Endometritis) गर्भाशय की लाइनिंग में होने वाला एक तरह का संक्रमण है, जिसकी वजह से महिला को भारी और अनियमित रक्तस्राव होता है या इसमें से बदबूदार डिस्चार्ज निकलता है, और कभी-कभी बच्चे को जन्म देने के बाद बुखार भी आ सकता है। सिजेरियन डिलीवरी के बाद महिलाओं में कैथेटर के कारण होने वाले मूत्र संक्रमण के होने की भी संभावना हो सकती है। इस तरह के संक्रमण के लक्षण होते है, पेट के निचले हिस्से या कमर में दर्द, या ऊंचे तापमान में जाने से या ज्यादा ठंड बढ़ने पर दर्द हो सकता है।
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सिजेरियन डिलीवरी में अक्सर रक्त के थक्के (Blood Clot) जमने का जोखिम होता है। अगर थक्का फेफड़ों में जमा है तो यह बहुत घातक भी हो सकता है। यदि आपको पिंडली की मांसपेशियों में दर्द और सूजन महसूस हो या सांस लेने में तकलीफ हो रही हो और बहुत ज्यादा खांसी आ रही हो तो आपको तत्काल चिकित्सा सहायता लेने की आवश्यकता पड़ सकती है। रक्त के थक्के जमने के जोखिम को कम करने के लिए डॉक्टर आपको घूमने और रक्त पतला करने वाली दवाईयां लेने के लिए कह सकता है।
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सी सेक्शन डिलीवरी के समय इस्तेमाल किये जाने वाले एनेस्थीसिया से गर्भवती महिला को सिर दर्द होने की समस्या पैदा हो सकती है। परन्तु कुछ मामलों में इसके कुछ अन्य जोखिम भी देखने को मिले है जैसे अस्थायी तंत्रिका क्षति (Temporary Nerve Damage)।
यदि आप एक बार सी-सेक्शन होने के बाद फिर से गर्भवती हैं, तो आपको एक और सी-सेक्शन डिलीवरी होने का जोखिम अधिक हो सकता है। ज्यादातर मामलों में यह पाया गया है की अगर किसी महिला की पहली डिलीवरी सिजेरियन सर्जरी से होती है, तो दूसरी प्रेगनेंसी में भी डिलीवरी सी-सेक्शन से ही होगी।
(और पढ़ें – सिजेरियन डिलीवरी के बाद क्या खाना चाहिए और क्या नहीं)
सी-सेक्शन से डिलीवरी होने के मामले में डिलीवरी के बाद मां की मृत्यु होने की संभावना और मृत्यु दर अधिक होती है।
जिस तरह सी सेक्शन डिलीवरी के बाद माँ के लिए कई तरह के जोखिम उत्पन्न हो जाते है उसी प्रकार सिजेरियन डिलीवरी के बाद बच्चे को भी कई तरह के नुकसान होते है जो उसके स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकते है, इनमे शामिल है-
सी सेक्शन के माध्यम से जन्म लेने वाले बच्चों में अक्सर सांस की तकलीफ होने की समस्या को देखा गया है। जरुरी नहीं है की यह समस्या बच्चो को हमेशा रहे परन्तु ऐसा होने पर बच्चे को उचित देखभाल और चिकित्सा की जरुरत होती है। सांस लेने में तकलीफ होने की ज़्यादातर मामलें उन बच्चो में पाए गए है जो समय से पहले जन्म लेते है या सिजेरियन डिलीवरी के द्वारा जन्म लेते है।
(और पढ़ें – समय से पहले प्रसव (प्रीमैच्योर डिलीवरी))
सिजेरियन डिलीवरी के कुछ दुर्लभ मामलों में, बच्चे को डॉक्टर की छुरी (Scalpel) से चोट लगने की संभावना हो सकती है, हालांकि यह चोट आमतौर पर जल्दी ठीक भी हो जाती है।
योनि से जन्म लेने वाले शिशुओं की तुलना में सी-सेक्शन के माध्यम से जन्म लेने वाले शिशुओं को नवजात शिशु देखभाल (Neonatal Care) में रहने की अधिक आवश्यकता होती है।
सी-सेक्शन डिलीवरी से जन्मे शिशुओं में अस्थमा होने के जोखिम की अधिक संभावना होती है।
सिजेरियन डिलीवरी के माध्यम से पैदा होने वाले शिशुओं में स्टिलबर्थ या शिशु मृत्यु दर का जोखिम अधिक पाया जाता है।
नोट-सिजेरियन डिलीवरी में माँ और बच्चे के लिए कई तरह के फायदे है तो उससे ज्यादा नुकसान भी है इसलिए अगर आपके साथ कोई स्वास्थ्य समस्या नहीं है या आपके होने वाले बच्चे को भी किसी तरह के जोखिम का खतरा नहीं है तो हमेशा अपने और अपने बच्चे के अच्छे स्वास्थ्य और भविष्य के लिए योनी प्रसव (Normal Delivery) का विकल्प ही चुनें।
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