Fatigue in hindi थकान आमतौर पर शरीर में ऊर्जा की कमी होने को कहा जाता है। इसकी वजह से व्यक्ति को सुस्ती महसूस होती है और कार्य करने के लिए वह शरीर में पर्याप्त ऊर्जा का अनुभव नहीं करता है। व्यक्ति शारीरिक (physical) और मानसिक रूप से अधिक थकान महसूस करता है। थकान होने पर नींद का अनुभव होना आम है लेकिन यह थकान नहीं है बल्कि नींद आना थकान का एक लक्षण है। माना जाता है कि थकान शरीर में कई विकार होने का संकेत है जो हल्का और गंभीर भी हो सकता है। इस आर्टिकल में आप जानेंगे थकान के कारण, थकान के लक्षण और इलाज – Fatigue Causes, Symptoms and Treatment in Hindi के बारे में।
1. थकान के कारण – Causes of Fatigue in Hindi
2. थकान होने के लक्षण – Symptoms of Fatigue in Hindi
3. थकान का निदान – Fatigue diagnosis in hindi
4. थकान का इलाज – Fatigue Treatment in Hindi
5. थकान से बचाव – Fatigue Prevention in Hindi
थकान होने के कई संभावित कारण हैं। आमतौर पर मनुष्य के शरीर में विभिन्न बीमारियों का मुख्य लक्षण थकान और कमजोरी होती है। कभी-कभी शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ व्यक्तियों को भी थकान महसूस होती है लेकिन यदि सामान्य थकान भी लंबे समय तक बनी रहे तो यह असामान्य (abnormal) और गंभीर हो सकती है। अमूमन शारीरिक और मानसिक परिश्रम थकान के कारण की मुख्य वजह होती है। अधिक देर तक काम करने से व्यक्ति के शरीर की ऊर्जा क्षीण हो जाती है जिसकी वजह से उसे थकान का अनुभव होता है। हालांकि यह प्रत्येक व्यक्ति में अलग-अलग होती है और उनके शरीर की क्षमता पर भी निर्भर करती है।
लेकिन इसके अलावा भी थकान होने के पीछे कई कारण होते हैं-
Fatigue/ थकान अपने आप में कई बीमारियों का लक्षण है। प्रत्येक व्यक्ति में थकान के लक्षण अलग-अलग दिखाई देते हैं और इनमें शारीरिक एवं मानसिक थकान भी शामिल है।
थकान के लक्षण इस प्रकार हैं-
थकान की समस्या के निदान (diagnosis) के लिए डॉक्टर रोगी से शरीर में ऊर्जा की कमी के अलावा अन्य लक्षणों की जानकारी प्राप्त करते हैं। नींद की कमी, जल्दी-जल्दी सांस लेना, बाल झड़ना, और मल के रंग के बारे में भी मरीज से पूछा जाता है।
मरीज के बताए गए लक्षणों के आधार पर मरीज के शरीर में थकान के निदान के लिए ब्लड टेस्ट किया जाता है। थकान के लिए सीबीसी टेस्ट में लाल एवं सफेद रक्त कोशिकाओं और प्लेटलेट की संख्या का पता लगाया जाता है।
इलेक्ट्रोलाइट टेस्ट में मरीज के शरीर में सोडियम, पोटैशियम, क्लोराइड, और कैल्शियम के स्तर का पता लगाया जाता है। इसके अलावा ब्लड शुगर की भी जांच की जाती है। मरीज की स्थिति के आधार पर सीपीके और ईएसआर स्क्रीनिंग के अलावा एक्सरे, सीटी स्कैन और ईसीजी टेस्ट के जरिए भी मरीज में थकान का निदान किया जाता है।
थकान उत्पन्न करने वाले कारणों को नियंत्रित (control) करके थकान होने से बचा जा सकता है। शारीरिक और मानसिक थकान के पीछे कई कारण होते हैं, अगर आप थकान से बचना चाहते हैं तो आपके निम्न बातों का ध्यान रखना चाहिए-
(और पढ़े – कम्प्यूटर पर काम की थकान से बचना है तो अपनाये इन टिप्स को)
ऊपर ले लेख में आपने जाना थकान के कारण, लक्षण और इलाज – Fatigue Causes, Symptoms and Treatment in Hindi के बारे में।
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