घरेलू उपाय

लंग कैंसर से बचने के उपाय – Home Remedies For Lung Cancer In Hindi

Home Remedies For Lung Cancer In Hindi: लंग कैंसर से बचने के उपाय के उपाय आज के समय में सभी लोगों को पता होना चाहिए क्योंकि फेफड़ों के कैंसर की बीमारी गंभीर अब रूप ले चुकी है। फेफड़ों की कोशिकाओं का अनियंत्रित रूप से बढ़ना और फिर उनका एक ट्यूमर में बदलना फेफड़ों के कैंसर का कारण होता है। दुनियाभर में मौत का एक सबसे बड़ा कारण फेफड़ों का कैंसर माना जाता है। फेफड़ों में कैंसर होना एक बहुत बड़ी बीमारी है, जो दिनप्रतिदिन बढ़ती ही जा रही है। आज लगभग 70,726 से अधिक लोग फेफड़ों के कैंसर (Lung Cancer) से पीड़ित हैं। इससे बचने के लिए लोगों को लंग कैंसर के शुरुआती लक्षण और इससे बचाव के तरीको के बारे में आवश्यक जानकारी होनी चाहिए। आज के इस आज के इस आर्टिकल में हम आपको लंग कैंसर से बचने के उपाय के बारे में जानकारी देंगें।

लंग कैंसर से बचने के उपाय – Home remedies for lung cancer in Hindi

लंग कैंसर यानी फेफड़ों के कैंसर की बीमारी के शुरुआती लक्षणों का पता आसानी से नहीं लगाया जा सकता। इसलिए लंग कैंसर से बचने के उपाय से बचने के उपाय आपको पता होना चाहिए। इसके कई कारण हो सकते है लेकिन धूम्रपान करना इसकी मुख्य वजह माना जाता है।

स्मोकिंग या धूम्रपान न करें

धूम्रपान से शरीर को होने वाले नुकसान के बारे में हर व्यक्ति को जानकारी है। हमें जगह-जगह लगे पोस्टर और रेडियो, टेलीविजन में अक्सर प्रसारित होने वाले सरकारी विज्ञापन यह चेतावनी देते हैं कि धूम्रपान व्यक्ति के सेहत के लिए कितना खतरनाक है। लेकिन इसके बावजूद लोग अपनी सेहत की अनदेखी (ignore) करते हुए धूम्रपान करना जारी रखते हैं। लंग कैंसर से बचने के धूम्रपान न करना सबसे अच्छा उपाय है। धूम्रपान करने के लिए लोग बीड़ी और सिगरेट का उपयोग करते हैं। यह सभी तंबाकू उत्पाद है, इससे कैंसर जैस भयंकर बीमारी होती हैं। धूम्रपान करने वालों में धूम्रपान करने वालो की तुलना में लंग कैंसर होने की संभावना 15 से 30 गुना तक अधिक होती है। इसलिए लंग कैंसर से बचने का सबसे आसान और प्रभावी उपाय स्मोकिंग छोड़ना है।

(यह भी पढ़ें – धूम्रपान छोड़ने के सबसे असरदार घरेलू उपाय और तरीके)

शराब का सेवन न करें

शराब पीना कैंसर का कारण बन सकता है क्योंकि शराब पीने वाले लोगों में शराब डीएनए को नुकसान पहुंचाकर कैंसर के खतरे को बढ़ा देती है। ब्रिज यूनिवर्सिटी में मेडिकल रिसर्च काउंसलिंग लेबोरेटरी ऑफ मॉलिक्यूलर बायोलॉजी के एक अध्ययन में पाया गया है कि जब शरीर शराब के साथ प्रतिक्रिया करता है तो यह एसीटैल्डिहाइड नामक रासायनिक पदार्थ पैदा करता है। इसलिए आप लंग कैंसर से बचने के लिए शराब का सेवन न करें।

(और पढ़ें – शराब पीने के फायदे और नुकसान और शरीर पर इसका प्रभाव)

लंग कैंसर से बचने के उपाय एक्सरसाइज

नियमित एक्सरसाइज करके आप अपने लंग्स को स्ट्रोंग बना सकते है जो कि फेफड़े के संक्रमण की स्थिति में सूजन, संक्रीण वायुमार्ग, क्षतिग्रस्त वायुकोष आदि समस्यों से बचता हैं। लंग कैंसर से बचने के लिए  कार्डियो एक्सरसाइज ही अच्छी मानी जाती हैं। कार्डियो को एरोबिक व्यायाम भी कहा जाता है। एक छोटे से अध्ययन से पता चला है कि प्रति सप्ताह तीन से चार बार कार्डियो व्यायाम करने से फेफड़ों के कार्य करने कि क्षमता बढ़ती है। कार्डियो एक्सरसाइज में आप अपने पसंदीदा खेलों में दौड़ना, टहलना, साईकिल चलानातैरना और रस्सी कूदना जैसी गतिविधियाँ शामिल होती हैं जो आपको स्वस्थ बनाने में सहायक होती हैं।

रनिंग

रनिंग करने से आप लंबी लंबी साँस लेते है जिसकी वजह से आपके फेफड़े अच्छी तरह से फैलते है और उनमें ऑक्सीजन की पर्याप्त मात्रा पहुँच पाती हैं। दौड़ना लंग कैंसर से बचने का अच्छा उपाय है। इसके अलावा दौड़ने से आप अपका दिल भी बिल्कुल स्वस्थ रहता है और इससे आपकी कार्डियोवस्कुलर फिटनेस को एक नया मुकाम मिलता है।

साइकिलिंग

रोजाना साइकिलिंग करने से आपको फेफड़ों की बीमारियों का खतरा कम हो जाता है। साइकल चलाने से मसल्स की एक्सरसाइज होती है जिससे ना सिर्फ कार्डियोवस्कुलर फिटनेस बढ़ती है बल्कि कैलोरी भी कम होती है। इस तरह की एक्सरसाइज लंग्स, हार्ट और दिमाग को स्वस्थ रखती है।

स्वीमिंग

स्वीमिंग सिर्फ एक एक्टिविटी (activity) ही नहीं बल्कि एक कार्डियो एक्सरसाइज भी है। स्वीमिंग ना सिर्फ शरीर को फीट रखती बल्कि यह लंग कैंसर से बचने का उपाय भी है। लेन स्वीमिंग (Lane swimming) में शरीर को ऊपर या नीचे करके सीधे एक ही लाइन में स्वीमिंग करनी होती है। इस स्वीमिंग में आपको शरीर सीधा रखना होता है जिससे आपके शरीर को मेहनत ज्यादा करनी पड़ती है और लंग्स में अधिक ऑक्सीजन जाती हैं। ये ही मेहनत शरीर को ऊर्जा (Energy) खपत करवाती है जिससे आपका शरीर भी फिट रहता है।

फेफड़ों के कैंसर से बचने का उपाय योग

फेफड़े हमारे शरीर का महत्वपूर्ण अंग हैं इसलिए इनको किसी भी प्रकार की बीमारियों बचाना और स्वस्थ रखना बहुत जरूरी होता हैं। फेफड़ों को मजबूत करके आप लंग कैंसर से बच सकते है। योग अभ्यास करना फेफड़ों को मजबूत करने का सबसे अच्छा तरीका है। अपने फेफड़ों को धूम्रपान से मुक्त रखने के अलावा एक नियमित रूप से योग करना आपके फेफड़ों के लिए सबसे अच्छी चीजों में से एक है। योग ऐसे परिणामों को सुनिश्चित करने के लिए सबसे सही तरीका है जो फेफड़ों के लिए फायदेमंद होते हैं और उन्हें स्वस्थ रखते हैं।

योग करने से आपके लंग्स अच्छी तरह से फैलते है जिससे शरीर में ऑक्सीजन की अधिक मात्रा पहुंची है। ऑक्सीजन हमारे सभी अंगों को ऊर्जा देने के लिए बहुत जरूरी होता है। लंग कैंसर से बचने के लिए आप निम्न योग आसान को करें।

(यह भी पढ़ें – योग क्‍या है, योग के प्रकार और फायदे)

अनुलोम विलोम प्राणायाम

इस आसन को करने के लिए आप सबसे पहले एक योगा मैट को जमीन पर बिछा कर सुखासन या वज्रासन में बैठ जाएं। अब अपने दाहिने हाथ को ऊपर उठायें और अंगूठे से दाहिने नाके नथुने को बंद करके बाएं नथुने से लम्बी साँस लें अब अपने दाहिने हाथ की अनामिका से बाएं नथुने को बंद करके दाहिने नथुने से साँस को बाहर छोड़े। इस स्थिति में आपका बायां हाथ घुटने पर रहेगा।

(और पढ़े – अनुलोम विलोम प्राणायाम के फायदे और करने का तरीका…)

त्रिकोणासन योग

इस आसन को करने के लिए आप एक योगा मैट पर दोनों पैरों को दूर-दूर करके सीधे खड़े हो जाएं, अपने दाएं पैर के साइड झुकें और अपने हाथ को जमीन पर रखें और दूसरे हाथ को ऊपर करके सीधा करें जिससे दोनों हाथ एक सीधी रेखा में हो जाएं। कुछ देर इस आसन में रहें, अगर आपको जमीन पर हाथ रखने में कठिनाई होती हैं तो आप हाथ को पैर के ऊपर रख सकते हैं।

(और पढ़े – त्रिकोणासन के फायदे और करने का तरीका…)

कपालभाति प्राणायाम

इस आसन को करने के लिए आप सबसे पहले एक योगा मैट को जमीन पर बिछाकर पद्मासन या सुखासन में बैठ जाएं। अपने दोनों हाथों को घुटनों पर रखे और ध्यान की मुद्रा में बैठे। साँस अन्दर को ओर ले अब साँस को बाहर छोड़ते हुए पेट को अन्दर की ओर इस प्रकार खींचे की पेट और पीठ आपस में मिल जाएं। फिर साँस को अन्दर ले ओर पेट को ढीला करें। यह क्रिया फिर से दोहराहएं। कपालभाति प्राणायाम को पांच मिनट तक लगातार दोहराएं।

(और पढ़े – कपालभाति करने का तरीका और लाभ…)

नौकासन योग

नौकासन करने के लिए आप एक योगा मैट को बिछा के दोनों पैरों को अपने सामने सीधा करके बैठ जाएं, अब दोनों पैरों को सीधा रखें हुए ऊपर की ओर उठायें। अब आप थोड़ा सा पीछे की ओर झुक के संतुलन बनाए और हाथों को अपने आगे की ओर सीधा रखें। इस मुद्रा में आपके पैरों और शरीर के ऊपरी हिस्से के मध्य कमर पर 45 डिग्री का कोण बनना चाहिए। इस आसन में आप अपनी क्षमता के अनुसार कुछ सेकंड करने का प्रयास करें।

(और पढ़े – नावासन (नौकासन) करने का तरीका और फायदे…)

गोमुखासन योग

इस आसन को करने के लिए आप आप सबसे एक योगा मैट बिछा के सुखासन में बैठ जाएं। अपने दाएं पैर को खिंच के अपने शरीर के पास लाएं फिर अपने बाएं पैर को भी खिंच के दाएं पैर की जांघ के ऊपर से अपने पास लाएं। अब अपने दाएं हाथ को कंधे के ऊपर से पीठ पर ले जाएं और बाएं हाथ को कोहनी के यह से मोड़ें के पीठ के पीछे ले जाये और अपने दोनों हाथों को आपस में मिला लें। आप इस स्थिति में कुछ समय तक रहें।

(और पढ़े – गोमुखासन करने का तरीका और फायदे…)

लंग कैंसर से बचने के लिए डाइट

अपने आहार में भी परिवर्तन करके आप लंग कैंसर जैसी बीमारी से बच सकते हैं इसके लिए आप निम्न डाइट का पालन करें।

(और पढ़े – क्या खाने से कैंसर का खतरा कम किया जा सकता है…)

हरी सब्जी खाएं

हरी सब्जियां खाने के कई फायदे हैं, यह आपको लंग कैंसर से भी बचाने में सहायक हो सकती हैं। हरी सब्जियां खाने के फायदे स्‍वास्‍थ्‍य के लिए किसी औषधि से कम नहीं होते हैं। इसमें सभी प्रकार के खनिज तत्व और विटामिनों की भरपूर मात्रा में होती हैं, इसलिए शरीर को स्वस्थ और मजबूत रखने के लिए हरी सब्जियां का सेवन जरूरी है। यह स्‍वास्‍थ्‍य संबंधी गंभीर बीमारियों को दूर करने में सहायक होती हैं। हरी सब्जी खाने का फायदा लंग कैंसर के साथ-साथ हृदय रोग, कोलेस्ट्रॉल घटाने, मोटापा कम करने और हाई ब्लड प्रेशर की समस्या जैसी समस्याओं को दूर करने में भी होता हैं।

(यह भी पढ़ें – हरी सब्जियां खाने के फायदे)

ताजे फल खाएं

फल न केवल आपकी शारीरिक समस्याओं को दूर करते हैं, बल्कि कई बीमारियों से बचाने में भी मददगार हैं। सभी फलों में विटामिन, मिनरल और फाइबर पर्याप्त मात्रा में होते हैं। लंग कैंसर से बचने की डाइट में आप ताजे फलों को शामिल करें। फल हमारे शरीर में विटामिन ए और विटामिन सी की कमी को पूरा करते हैं। फलों में  एंटीऑक्सिडेंट गुण मौजूद होते हैं, जो लोग फल को स्वस्थ आहार के रूप में खाते हैं, उनको फेफड़ों की बीमारियों का जोखिम कम होता है।

(और पढ़े – जानें फल खाने का सही समय क्या है…)

ग्रीन टी पियें

ग्रीन चाय एक स्वास्थ्यप्रद पेय है। यह एंटीऑक्सिडेंट और पोषक तत्वों के साथ भरी हुई है जो शरीर पर शक्तिशाली प्रभाव छोड़ते है। इसमें मस्तिष्क के बेहतर सुधार, वसा हानि, कैंसर का कम जोखिम और कई अन्य प्रभावशाली लाभ शामिल हैं। लंग कैंसर से बचने के लिए आप ग्रीन टी पियें। यह अनॉक्‍सीडित (Unoxified) पत्तियों से बनती है और चाय के संसाधित प्रकारों में से एक है इसलिए इसमें पॉलीफेनोल (Polyphenol) शामिल हैं। जिसके कारण यह ज्यादा उपयोगी और लाभकारी होती है।

(और पढ़े – सुबह खाली पेट ग्रीन टी पीने के फायदे…)

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