Manganese in Hindi मैंगनीज (Manganese) एक खनिज है, जो कई प्रकार के खाद्य पदार्थों में पाया जाता है, जिनमें नट्स, फलियां, बीज, चाय, साबुत अनाज, और पत्तेदार हरी सब्जियां शामिल हैं। इसे एक आवश्यक पोषक तत्व के रूप में जाना जाता है, क्योंकि यह शरीर को अच्छी तरह से काम करने के लिए प्रेरित करता है। लोग मैंगनीज का उपयोग दवा और सप्लीमेंट के रूप में भी करते हैं। मैंगनीज (Manganese) की कमी या अधिकता के कारण व्यक्तियों में अनेक प्रकार की बीमारी और साइड इफ़ेक्ट देखने को मिलते हैं। अतः प्रत्येक व्यक्ति को मैंगनीज (Manganese) खनिज की जानकारी होना अति आवश्यक है। आज इस लेख में आप जानेंगे कि मैंगनीज (Manganese) क्या है, इसके स्त्रोत, कार्य, फायदे और नुकसान क्या-क्या हैं।
विषय सूची
1. मैंगनीज क्या है – What is manganese in Hindi
2. मैंगनीज के कार्य – Manganese function in Hindi
3. मैंगनीज के फायदे – Manganese Benefits In Hindi
4. मैंगनीज से नुकसान – Manganese side effects in Hindi
मैंगनीज (Manganese) एक स्वाभाविक रूप से प्राप्त होने वाला खनिज (mineral) है, जो हमारे शरीर में थोड़ी मात्रा में मौजूद होता है। यह रासायनिक रूप से संक्रमण धातु तत्व है। यह मैंगनीज सुपरऑक्साइड डिमूटेज एंजाइम (manganese superoxide dismutase enzyme) का एक वास्तविक घटक है और मानव शरीर में मुक्त कणों को बेअसर करने के लिए एक शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट (antioxidant) के रूप में कार्य करता है।
मैंगनीज (Manganese) मस्तिष्क, तंत्रिका तंत्र और शरीर के एंजाइम सिस्टम (enzyme systems) के सामान्य कामकाज के लिए आवश्यक होता है। शरीर को इस आवश्यक खनिज की पूर्ति आहार (खाद्य पदार्थ) से होती है।
मानव शरीर में मैंगनीज की कमी (manganese deficiency), कमजोर हड्डियां (ऑस्टियोपोरोसिस) (osteoporosis), जोड़ों में दर्द (ऑस्टियोआर्थराइटिस) (osteoarthritis), एनीमिया (anemia), वजन घटना (weight loss) और प्रीमेन्स्ट्रुअल सिंड्रोम (premenstrual syndrome) (PMS) आदि लक्षणों का कारण बनती है।
मैंगनीज को आवश्यक पोषक तत्व माना जाता है जो विशेष रूप से बीज और पूरे अनाज (whole grains) में पाया जाता है, साथ ही साथ फलियां (legumes), सेम (beans), नट्स (nuts), पत्तेदार हरी सब्जियां और चाय में में यह कम मात्रा में मोजूद रहता है।
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मैंगनीज (Manganese) निम्न कार्यों को करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता हैं:
प्रतिरक्षा के रूप में (Immune response)
सेक्स हार्मोन के उत्पादन में और प्रजनन क्षमता में
मस्तिष्क विकास और मस्तिष्क कार्यों में
हड्डी और संयोजी ऊतकों के निर्माण में
पाचन प्रक्रिया में
एंटीऑक्सीडेंट (Antioxidant) के रूप में
माइटोकॉन्ड्रिया में ATP के रूप में ऊर्जा उत्पादन करने में
वसा, प्रोटीन और शुगर के चयापचय में
मैंगनीज (Manganese) मानव शरीर के लिए एक आवश्यक पोषक तत्व है जो विभिन्न प्रकार के शारीरिक कार्यों और शरीर को स्वस्थ रखने में हमारी मदद करता है। मैंगनीज से होने वाले फायदे निम्न है :
कैल्शियम, जस्ता (zinc) और तांबा (copper) आदि खनिज पदार्थों के साथ मैंगनीज का सेवन वृद्ध महिलाओं में रीढ़ की हड्डी के नुकसान को कम करने में मदद करता है। इसके अलावा, एक वर्ष तक मैंगनीज (Mn), कैल्शियम Ca, विटामिन डी, मैग्नीशियम (Mg), जस्ता (zinc), तांबा (copper) और बोरॉन (boron) युक्त एक विशिष्ट उत्पाद क सेवन कमजोर हड्डियों वाली महिलाओं में हड्डी द्रव्यमान में सुधार करता है। अत: मैंगनीज का सेवन ऑस्टियोपोरोसिस (osteoporosis) का इलाज करने के लिये आवश्यक है।
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मैंगनीज, सुपरऑक्साइड डिमूटेज (superoxide dismutase) (SOD) नामक एंटीऑक्सीडेंट एंजाइम का एक हिस्सा है, अत: यह आवश्यक रुप से शरीर में सबसे महत्वपूर्ण एंटीऑक्सिडेंट्स में से एक है।
मनव शरीर के अन्दर मुक्त कण (free radicals) हृदय रोग और कुछ प्रकार के कैंसर का कारण बनते हैं अत: एंटीऑक्सीडेंट (Antioxidant) तत्व मुक्त कणों के खिलाफ सुरक्षा प्रदान करने में मदद करते हैं।
अतः मैंगनीज (Manganese) तथा अन्य खनिजों के सेवन से बीमारी के जोखिम को कम करने में मदद मिल सकती है।
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मैंगनीज (Manganese) शरीर में रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित कर सकता है और मधुमेह (diabetes) की बीमारी को कम करने में मदद करता है। मधुमेह वाले व्यक्तियों के रक्त में मैंगनीज के कम स्तर पाए जाते हैं। मैंगनीज रक्त में शुगर के स्तर को नियंत्रित करने के लिए इंसुलिन के उत्पादन (संश्लेषण) और उचित स्राव (proper secretion) में अपना योगदान देता है।
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मैंगनीज (Manganese), चयापचय क्रिया में कई प्रकार के एंजाइमों को सक्रिय करने में मदद करता है तथा शरीर के अन्दर विभिन्न प्रकार की रासायनिक क्रियाओं में भी अपनी भूमिका निभाता है। यह प्रोटीन और एमिनो एसिड के साथ-साथ कोलेस्ट्रॉल (cholesterol) और कार्बोहाइड्रेट के चयापचय (metabolism) में भी मदद करता है।
मैंगनीज शरीर को कई प्रकार के विटामिनों जैसे – कोलाइन (choline), थियामिन (thiamine) और विटामिन सी और ई आदि का उपयोग करने के लिए प्रेरित करता है, और यकृत कार्यों (liver function) में भी सुधार लाता है।
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कई महिलाएं मासिक धर्म चक्र (menstrual cycle) में निश्चित समय पर विभिन्न प्रकार के लक्षणों से पीड़ित होती हैं। इनमें चिंता, रोना, अकेलापन, बेचैनी, चिड़चिड़ाहट, दर्द, तनाव और यहां तक कि डिप्रेशन (Depression) भी शामिल हो सकता है। इस प्रकार की समस्या को प्रीमेन्स्ट्रुअल सिंड्रोम (Premenstrual syndrome) के रूप में जाना जाता है
प्रारंभिक शोध से पता चला है कि मैंगनीज और कैल्शियम का सेवन करने से प्रीमेन्स्ट्रुअल सिंड्रोम (Premenstrual syndrome) (PMS) के लक्षणों में सुधार हो सकता है। एक अध्ययन से पता चला है कि रक्त में मैंगनीज के निम्न स्तर वाली महिलाओं को पूर्व मासिक धर्म (pre-menstruation) के दौरान अधिक दर्द और मनोदशा के अनेक लक्षणों का अनुभव होता है।
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स्वस्थ मस्तिष्क कार्यों के लिए मैंगनीज (Manganese) आवश्यक होता है और अक्सर तंत्रिका विकारों का इलाज करने के लिए प्रयोग किया जाता है।
मानव शरीर में फ्री रेडिकल (free radicals) तंत्रिका मार्ग की मस्तिष्क कोशिकाओं को नुकसान पहुंचा सकते है।
विशेष रूप से मैंगनीज शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट सुपरऑक्साइड डिसम्यूटेस (antioxidant superoxide dismutase) के रूप में मुक्त कणों (free radicals) के खिलाफ सुरक्षा प्रदान करता है। इसके अतिरिक्त, मैंगनीज (Manganese) शरीर में विद्युत आवेगों (electrical impulse) के तेज या अधिक कुशल कार्यों को उत्तेजित कर सकता है। अतः यह विशिष्ट रूप से मस्तिष्क कार्यों में सुधार कर सकता है।
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मैंगनीज (Manganese) विभिन्न प्रकार के एंजाइमों के लिए एक आवश्यक कॉफ़ैक्टर (cofactor) है, इसका अर्थ यह है कि मैंगनीज, सभी प्रकार के एंजाइमों को एक साथ शरीर के अन्दर ठीक से काम करने में मदद करता है। यह थायरोक्सिन (thyroxine), जो कि एक थायराइड हार्मोन (Thyroid hormones) है, के उत्पादन में भी भूमिका निभाता है।
थायरोक्सिन (thyroxine) एक महत्वपूर्ण हार्मोन है, जो थायराइड ग्रंथि के सामान्य कार्य के लिए महत्वपूर्ण होता है, यह उचित भूख (proper appetite), चयापचय (metabolism), वजन और अंगों की दक्षता को उचित बनाए रखने में मदद करता है।
मैंगनीज की कमी एक हाइपोथायरायड (hypothyroid) की स्थिति का कारण बन सकती है, जिससे वजन बढ़ने और हार्मोन असंतुलन की समस्या उत्पन्न हो सकती है।
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मैंगनीज (Manganese) आवश्यक विटामिन जैसे – विटामिन बी, विटामिन ई और खनिजों के अवशोषण में उपयोगी हो सकता है। यह खाद्य पदार्थों से प्राप्त विटामिन के अवशोषण और उनका उपयोग करने के लिए आवश्यक एंजाइमेटिक प्रतिक्रियाओं (enzymatic reactions) में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
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मैंगनीज (Manganese) का उपयोग पुरानी सूजन और मोच (sprains) का इलाज करने के लिए एक एंटीऑक्सीडेंट (antioxidant) और एंटी इंफ्लामेटरी (anti-inflammatory) दवा के रूप में किया जाता है। यह गठिया (arthritis) रोगियों में सुपरऑक्साइड डिसम्यूटेस (Superoxide dismutase) (SOD) के स्तर को बढ़ावा देता है। चूंकि सुपरऑक्साइड डिसम्यूटेस में बहुत अधिक एंटी इंफ्लामेटरी (anti-inflammatory) गुण होते हैं। अतः मैंगनीज का सेवन रोगियों में दर्दनाक सूजन से राहत दे सकता है।
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बहुत से अध्ययनों में पाया गया है कि मिर्गी के दौरे (epileptic seizures) कभी-कभी मैंगनीज (Manganese) के निम्न स्तर के कारण ट्रिगर (trigger) होते हैं। हालांकि, दौरे को रोकने के लिए लाभकारी उपाय की अभी तक पूर्ण तरीके से खोज नहीं हो पाई है। मिर्गी के दौरे (epileptic seizures) से पीड़ित हजारों व्यक्ति मैंगनीज के सेवन से लाभान्वित हुए है, यह भविष्य में मिर्गी की घटना को रोकने के लिए वैसोडाइलेटर (vasodilator) के रूप में कार्य करता है।
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बच्चों को मैंगनीज सप्प्लिमेंट्स (manganese supplements) लेने से पहले हेल्थकेयर या डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए। मैंगनीज की उच्च मात्रा गंभीर साइड इफेक्ट्स (side effects) का कारण बन सकती है। अतः प्रत्येक व्यक्ति को अपनी आवश्यकता अनुसार ही मैंगनीज (Manganese) का सेवन करना चाहिए। व्यक्ति की उम्र और परिस्थिति के अनुसार अनुमानित दैनिक मात्रा इस प्रकार है:
वयस्क पुरुषों और महिलाओं के लिए 11 मिलीग्राम या इससे कम मैंगनीज प्रति दिन उपभोग करना फायदेमंद होता है।
1 से 3 साल के बच्चों के लिए प्रतिदिन 2 मिलीग्राम से कम
4 से 8 साल के बच्चों के लिए प्रतिदिन 3 मिलीग्राम से कम मात्रा
9 से 13 साल के बच्चों के लिए प्रतिदिन 6 मिलीग्राम से कम
14 से 18 साल के बच्चों के बच्चों के लिए प्रतिदिन 9 मिलीग्राम से कम
19 वर्ष से अधिक उम्र की गर्भावस्था और स्तनपान करने वाली महिलाओं के लिए प्रतिदिन 11 मिलीग्राम
19 वर्ष से कम आयु की गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए प्रति दिन – 9 मिलीग्राम से कम
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ऐसे बहुत से खाद्य पदार्थ मौजूद है, जिनमें मैंगनीज (manganese) अधिक मात्रा में पाया जाता है। यह बीज (seeds) और साबुत अनाज (whole grains) से अधिक मात्रा में प्राप्त किया जा सकता है, साथ ही साथ फलियां (legumes), सेम (beans), नट्स (nuts), पत्तेदार हरी सब्जियां और चाय में भी कम मात्रा में पाया जाता है।
मैंगनीज के कुछ महत्वपूर्ण स्रोत (manganese in food)और उनमें पाई जाने वाली मात्रा निम्न है :
1 कप बनी हुई चाय (brewed tea) – 0.5 मिलीग्राम
1/4 कप कच्ची मूंगफली (raw peanuts) – 0.7 मिलीग्राम
3/4 कप पके हुए काबुली चने (cooked Chickpea) – 1.2 मिलीग्राम
1/4 कप काजू (cashews) – 0.5 मिलीग्राम
1 कप कच्चे पालक (raw spinach) – 0.3 मिलीग्राम
1/2 कप रास्पबेरी (raspberries) – 0.4 मिलीग्राम
1/2 कप काटा अनानस के टुकड़े (diced pineapple) – 0.8 मिलीग्राम
1 कप कच्चा और कटा हुआ काले (raw and chopped kale) – 0.5 मिलीग्राम
1/2 कप पके हुए ब्राउन चावल (cooked brown rice) – 1.1 मिलीग्राम
1/2 कप अंगूर (grapes) – 0.3 मिलीग्राम
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मनुष्यों में मैंगनीज की कमी बहुत कम देखने को मिलती है। ज्यादातर व्यक्ति मैंगनीज की अधिकता (Mn deficiency) के कारण प्रभावित होते हैं। मैंगनीज के अत्यधिक संपर्क में रहने या अत्यधिक सेवन करने से कई प्रकार के दुष्प्रभाव देखने को मिलते हैं, खासतौर पर यह मस्तिष्क, प्रजनन और शारीरिक विकास के लिए जोखिम कारक है।
हालांकि मैंगनीज (manganese) बहुत सारे स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है, लेकिन इसकी खपत अत्यधिक मात्रा में होने पर निम्न दुष्प्रभावों को देखा जा सकता है।
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मानव शरीर में मैंगनीज (Manganese) संतुलित मात्रा में रहने पर यह ऑक्सीडेटिव तनाव की स्थिति से लड़ने में मदद करता है। लेकिन बहुत अधिक मैंगनीज (Mn) वास्तव में इस स्थिति को ओर अधिक खराब बनाता है।
मैंगनीज (Mn) अधिक मात्रा में होने पर, यह माइटोकॉन्ड्रिया (mitochondria) में जमा होता है और रिएक्टिव ऑक्सीजन स्पीशीज (reactive oxygen species) (ROS) के उत्पादन में वृद्धि करता है।
इसके अलावा, मैंगनीज (Mn) ग्लूटाथियोन (glutathione) (GSH) के स्तर को कम कर देता है। ग्लूटाथियोन एक महत्वपूर्ण एंटीऑक्सीडेंट (antioxidant) है।
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मैंगनीज (Mn) की अधिकता से इंफ्लेमेटरी मॉलिक्यूल (inflammatory molecules) जैसे – टीएनएफ-α (TNF-α), आईएल -6 (IL-6), आईएल -1 बी (IL-1β) प्रोस्टाग्लैंडिन (prostaglandins) और नाइट्रिक ऑक्साइड (nitric oxide) समेत अन्य इंफ्लेमेटरी मॉलिक्यूल की रिहाई (मुक्ति) बढ़ जाती है। इससे मस्तिष्क की सूजन और न्यूरॉन को बहुत अधिक हानि हो पहुँचती है।
अध्ययन में पाया गया है कि मैंगनीज (Mn) युक्त यौगिक फेफड़ों की सूजन (lung inflammation) में वृद्धि करते हैं और फेफड़ों की क्षति का कारण बनते हैं।
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एक अवलोकन संबंधी अध्ययन से पता चला है कि मैंगनीज (Mn) के संपर्क में रहने वाले पुरुष श्रमिकों के पास, अन्य श्रमिकों की तुलना में काफी कम बच्चे थे, जिससे यह निष्कर्ष निकलता है कि यह मैंगनीज (Mn) धातु प्रजनन क्षमता कम कर सकती है।
एक अध्ययन में पाया गया कि मैंगनीज (Mn) का अत्यधिक सेवन करने वाले पुरुषों में प्रजनन क्षमता कम पाई गई। इसके अतिरिक्त व्यक्तियों में वृषण का वजन (testes weight), शुक्राणुओं की संख्या (sperm count) और रक्त टेस्टोस्टेरोन (blood testosterone) और कूप उत्तेजक हार्मोन (ollicle-stimulating hormone) की सांद्रता में भी कमी पाई गई।
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सामान्य चिंता से ग्रस्त मरीजों के लिए मैंगनीज (Mn) का सेवन कम मात्रा में करना चाहिए। परीक्षण के अनुसार पाया गया कि, मैंगनीज (Mn) के overexposure या अत्यधिक सेवन से मनोदशा (mood) पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। उच्च मैंगनीज (Mn) स्तर वाले वृद्ध पुरुषों में चिंता, घबराहट, चिड़चिड़ाहट और आक्रामकता (aggression) में वृद्धि दिखाते हैं।
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मानव शरीर में मैंगनीज (Mn) की अधिक मात्रा मस्तिष्क के लिए जहरीली (toxic) हो सकती है। मैंगनीज (Mn) की विषाक्तता मुख्य रूप से उन व्यावसायिक क्षेत्रों में अधिक देखने को मिलती है जहाँ धातु का उच्च स्तर होता है और साँस लेने के दौरान सीधे मस्तिष्क में प्रवेश कर सकती है। एयर मैंगनीज (air-Mn) के उच्च स्तर के कारण इसका लम्बे समय तक एक्सपोजर, वयस्क में मस्तिष्क विकारों का कारण बन सकता है।
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मैंगनीज (Mn) अधिभार अल्जाइमर रोग में एक भूमिका निभा सकता है। मैंगनीज (Mn) के उच्च स्तर व्यक्तियों में रक्त अमीलाइड-बीटा के स्तर (amyloid-beta levels) को बढ़ाकर, अल्जाइमर (Alzheimer’s) रोग की प्रगति में योगदान दे सकता है। मैंगनीज (Mn) के उच्च और निम्न दोनों स्तर अल्जाइमर रोग का कारण बन सकते हैं।
इसके अतिरिक्त मैंगनीज (Manganese) के अन्य साइड इफ़ेक्ट भी हैं जैसे –
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