Mooli Ke Patte Ke Fayde आप सभी मूली खाने के फायदे जानते हैं। लेकिन क्या मूली के पत्ते खाने के फायदे आपको पता हैं। यदि आप जानना चाहते हैं की मूली के पत्ते खाने से क्या होता है, तो मूली के पत्तों के स्वास्थ्य लाभ मधुमेह के उपचार से लेकर गठिया के इलाज तक के लिए होते हैं। मूली के पत्तों का सेवन कर आप कई प्रकार की स्वास्थ्य समस्याओं से छुटकारा पा सकते हैं। क्योंकि मूली के पत्तों में बहुत से पोषक तत्व और खनिज पदार्थों की उच्च मात्रा होती है। इस लेख में आप जानेगें कि मूली के पत्ते आपको कौन से स्वास्थ्य लाभ दिलाने में मदद करते हैं। आइए विस्तार से जाने मूली के पत्तों के बारे में।
विषय सूची
1. मूली के पत्ते क्या हैं – What is Radish Leaves in Hindi
2. मूली के पत्तों के पोषक तत्व – Radish Leaves Nutritional Value in Hindi
3. मूली के पत्ते खाने के फायदे – Radish Leaves Health Benefits In Hindi
4. मूली के पत्ते का उपयोग कैसे करें – How to use radish leaves in Hindi
5. मूली के पत्ते खाने के नुकसान – Muli ke patte khane ke nuksan in Hindi
जब भी सलाद की बात आती है हमारा ध्यान सबसे पहले मूली पर ही जाता है। लेकिन हम मूली के पत्तों पर बिल्कुल भी विचार नहीं करते हैं। लेकिन आपको इस विषय में सोचना चाहिए। मूली के पत्ते मोटे और कांटेदार बनावट के होते हैं। इनमें पोषक तत्वों की उचित मात्रा होती है। आप मूली के पत्तों का इस्तेमाल कई प्रकार के व्यंजनों को बनाने और मूली के पत्तों की सब्जी के लिए कर सकते हैं। इसके अलावा आप सलाद में पालक की तरह ही मूली के पत्तों को भी उपयोग कर सकते हैं। आइए जाने मूली के पत्तों में पाए जाने वाले पोषक तत्व क्या हैं।
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विटामिन और खनिज पदार्थों की उच्च मात्रा में मूली के पत्तों में होती है। इस कारण ही मूली के पत्ते हमारे स्वास्थ्य के लिए लाभकारी माने जाते हैं। मूली के पत्तों में आयरन, फास्फोरस, फोलिक एसिड, कैल्शियम और विटामिन सी की उच्च मात्रा होती है। ये सभी घटक हमारे शरीर के अच्छे स्वास्थ्य और विकास में मदद करते हैं। मूली के पत्तों में मौजूद औषधीय गुणों के कारण इसे जड़ी बूटी के रूप में भी इस्तेमाल किया जाता है। आइए जाने मूली के पत्तों के फायदे क्या हैं।
औषधीय गुणों से भरपूर मूली के पत्तों का उपयोग विभिन्न प्रकार की स्वास्थ्य समस्याओं के लिए किया जा सकता है। मूली के पत्तों के लाभ मधुमेह को दूर करने, पाचन तंत्र को स्वस्थ्य रखने, गठिया का इलाज करने, पीलिया उपचार, बवासीर का इलाज आदि के लिए होता है। आप अपने शरीर को ऊर्जा दिलाने के के साथ ही संक्रमण आदि से बचने के लिए आप मूली के पत्तों का इस्तेमाल कर सकते हैं।
जो लोग मधुमेह से प्रभावित हैं उन्हें मूली के पत्तों का सेवन करना चाहिए। मूली के पत्तों में कई गुण होते हैं जो रक्त शर्करा के स्तर को कम करने में मदद करते हैं। मूली के पत्ते की सब्जी खाना एक अच्छा विकल्प हो सकता है जो मधुमेह के लक्षणों को कम करने में सहायक होता है। यदि आप मधुमेह रोगी हैं तो मूली के पत्तों को अपने आहार शामिल करें। क्योंकि यह मधुमेह को नियंत्रित करने के साथ ही कई अन्य स्वास्थ्य लाभ दिला सकता है।
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गंभीर बीमारियों में पीलिया भी शामिल है जो कि घातक हो सकती है। मूली के पत्ते पीलिया जैसे रोगों का इलाज करने में मदद करते हैं। इस बीमारी में त्वचा का रंग पीला होने लगाता है जो शरीर में खून की कमी को भी दर्शाता है। मूली के पत्ते इस विशेष स्थिति को दूर करने में मदद करते हैं। पीलिया होने के दौरान मूली के पत्तों को पीसकर इसका रस निकालें। नियमित रूप से प्रतिदिन मूली के पत्तों ½ लीटर रस का सेवन 10 से 12 दिनों तक करें। ऐसा करने से आपको पीलिया से राहत मिलेगी। मूली के औषधीय गुणों के कारण बहुत सी दवाओं में मूली के पत्तों का उपयोग विशेष घटक के रूप में किया जा रहा है। आप भी मूली के पत्तों का इस्तेमाल कर पीलिया का उपचार कर सकते हैं।
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आपके शरीर को स्वस्थ्य रखने के लिए हृदय को स्वस्थ्य रखना बहुत ही आवश्यक है। मूली के पत्तों में एंथोसायनिन (anthocyanins) की अच्छी मात्रा होती है जो हमारे हृदय स्वास्थ्य को बढ़ावा देता है। इस तरह से मूली के पत्तों का नियमित सेवन हृदय स्वास्थ्य के लिए अच्छा होता है। आप भी अपने हृदय को स्वस्थ्य रखने के लिए मूली के पत्तों का उपयोग कर सकते हैं।
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आपके शरीर में बहुत से त्वचा संक्रमण खून की अशुद्धियों के कारण हो सकती है। लेकिन आप इन सभी समस्याओं को दूर करने के लिए मूली के पत्तों का उपयोग कर सकते हैं। मूली के पत्ते एंटीकोर्सिक (antiscorbutic) होता है। सामान्य शब्दों में कहा जाए तो मूली के पत्ते स्कर्वी
(scurvy) को रोकने में सहायक होते हैं। जो लोग मूली का सेवन करते हैं उन्हें यह पता होना चाहिए कि मूली की अपेक्षा मूली के पत्तों में विटामिन सी की उच्च मात्रा होती है। इस तरह से शरीर में मौजूद विषाक्तता को हटाने में मूली के पत्ते बहुत ही फायदेमंद होते हैं। यदि आप भी अपने रक्त को शुद्ध करना चाहते हैं तो मूली के पत्तों की सब्जी का इस्तेमाल कर सकते हैं।(और पढ़े – शरीर में खून (हीमोग्लोबिन) कैसे बढ़ाएं…)
यदि आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर है तो मूली के पत्तों का उपयोग करें। मूली के पत्तों में आयन की उच्च मात्रा होती है। इस कारण यह थकान को दूर करने में बहुत ही प्रभावी होता है। इसके अलावा मूली के पत्तों में विटामिन सी भी होता है जो एक एंटीऑक्सीडेंट का काम करता है। इसके अलावा मूली के पत्तों में विटामिन ए, थियामिन जैसे आवश्यक खनिज भी होते हैं। ये सभी एनिमिया, थकान और हीमोग्लोबिन के निम्न स्तर का बढ़ाने में मदद करते हैं। इस तरह से आप अपनी रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि करने के लिए मूली के पत्तों का उपयोग कर सकते हैं।
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पोटेशियम की उच्च मात्रा होने के कारण मूली के पत्ते रक्त चाप को नियंत्रित करने में मदद करते हैं। जो लोग उच्च रक्तचाप के मरीज हैं उनके लिए मूली के पत्ते औषधी का काम करते हैं। इस तरह से मूली के पत्तों का सेवन रक्त प्रवाह को नियंत्रित करने में मदद करते हैं। यदि आप उच्च रक्तचाप रोगी हैं तो मूली के पत्तों का उपयोग कर लाभ प्राप्त कर सकते हैं।
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आप अपने पाचन तंत्र को स्वस्थ्य रखने के लिए मूली के पत्तों का इस्तेमाल कर सकते हैं। मूली के पत्तों में मूली की अपेक्षा फाइबर की उच्च मात्रा होती है। फाइबर पाचन के लिए बहुत ही फायदेमंद होते हैं। इस तरह से मूली के पत्तों का सेवन कर आप कब्ज, दस्त और पेट की अन्य समस्याओं से छुटकारा पा सकते हैं।
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यदि आपको मूत्र पथ संबंधी समस्या है तो मूली के पत्ते लाभकारी हो सकते हैं। क्योंकि मूली के पत्तों के रस में मूत्रवर्धक गुण होते हैं। नियमित रूप से मूली के पत्तों का सेवन करने से यह पथरी को दूर करने में मदद करता है और मूत्राशय को साफ करने में मदद करता है। इसके अलावा मूली के पत्तों में पेट को साफ करने वाले गुण भी होते हैं। इस तरह से आप अपने पाचन तंत्र को स्वस्थ्य रखने और मूत्र संबंधी समस्याओं से छुटकारा पाने के लिए मूली के पत्तों का इस्तेमाल कर सकते हैं।
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पाचन और अन्य स्वास्थ्य संबधी समस्याओं के कारण बवासीर की समस्या हो सकती है। बवासीर एक गंभीर और दर्दनाक बीमारी है। इस बीमारी का इलाज करने के लिए मूली के पत्तों का उपयोग फायदेमंद हो सकता है। मूली के पत्तों में जीवाणुरोधी गुण होते हैं जिसके कारण यह गुदा द्वार की अंदरूनी सूजन को कम करने में मदद करते हैं। इसके लिए आप मूली के पत्तों को सुखाकर पाउडर बना लें। अब इस पाउडर की बराबर मात्रा में चीनी मिलाएं और पानी के साथ मिलाकर एक पेस्ट तैयार करें। आप इस पेस्ट का सेवन करने के साथ ही सूजन प्रभावित जगह पर लगा सकते हैं। इस तरह से मूली के पत्ते बवासीर का इलाज करने में मदद करते हैं।
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जोड़ों के दर्द से छुटकारा पाने के लिए आप कई प्रकार की दवाओं का उपयोग करते हैं। लेकिन इस समस्या से बचने के लिए आप मूली के पत्तों का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। गठिया एक दर्दनाक समस्या है जिसमें शरीर के सभी जोड़ों में असहनीय दर्द होता है। गठिया का उपचार करने के लिए आप मूली के पत्तों के रस का उपयोग कर सकते हैं। इसके लिए मूली के रस और चीनी की बराबर मात्रा लें और एक पेस्ट बनाएं। इस पेस्ट को गठिया प्रभावित सूजन वाली जगह में लगाएं। नियमित रूप से उपयोग करने पर मूली के पत्ते गठिया के दर्द का इलाज करने में मदद कर सकते हैं।
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अपनी सेहत को बढ़ावा देने के लिए आप मूली के पत्तों का इस्तेमाल कर सकते हैं। आप मूली के पत्तों को कई प्रकार से उपयोग कर लाभ प्राप्त कर सकते हैं। आप मूली के पत्तों की साग बना सकते हैं। मूली के पत्तों को पीस कर चटनी की तरह उपयोग कर सकते हैं। सलाद के रूप में भी पालक के साथ मूली के पत्तों का उपयोग किया जा सकता है। इसके अलावा आप मूली के पत्तों को पीस कर इसका रस भी निकाल सकते हैं। इस तरह से मूली के पत्तों को कई प्रकार से उपयोग कर आप लाभ प्राप्त कर सकते हैं।
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विभिन्न स्वास्थ्य समस्याओं के लिए मूली के पत्तों का उपयोग लाभकारी होता है। अभी तक मूली के पत्ते सेवन करने से होने वाले नुकसानों की जानकारी नहीं है। लेकिन फिर भी आपको सलाह दी जाती है कि किसी भी प्रकार की एलर्जी होने पर मूली के पत्तों का सेवन बंद कर देना चाहिए।
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