Motion Sickness In Hindi क्या आपको यात्रा के दौरान ठंडे पसीने के साथ चक्कर, उल्टी, कानों में सनसनी, सिरदर्द, आदि लक्षण होने लगते हैं यदि हाँ तो आपको मोशन सिकनेस (गति की बीमारी) हो सकती हैं। कार, ट्रेन, हवाई जहाज की यात्रा करने वाले लोगों में मोशन सिकनेस की बीमारी का पाया जाना एक आम बात है। किसी भी व्यक्ति इस स्थिति से ग्रसित हो सकता है, लेकिन यह ज्यादातर बच्चों, गर्भवती महिलाओं और कुछ विशेष दवाओं का सेवन करने वाले व्यक्तियों को अधिक परेशान करती है। मोशन सिकनेस से सम्बंधित बीमारी से ग्रस्त व्यक्ति यात्रा के दौरान ठंडे पसीने के साथ चक्कर, उल्टी, कानों में सनसनी, सिरदर्द, आदि लक्षणों को अचानक प्रगट कर सकता है।
इसलिए जो व्यक्ति अपनी यात्रा को सुखमय बनाना चाहते हैं, तो मोशन सिकनेस की इस समस्या को रोकने या इसका इलाज करने के सही तरीकों के बारे में जानना आवश्यक हो जाता है। इस लेख मोशन सिकनेस (गति की बीमारी) के बारे में बताया गया है जिसके माध्यम से आप मोशन सिकनेस के लक्षण, कारण, जाँच, इलाज के अलावा इससे बचने के तरीकों और उपायों के बारे में भी जान पायेंगें।
1. मोशन सिकनेस क्या होता है – What Is Motion Sickness in Hindi
2. मोशन सिकनेस के लक्षण – Motion Sickness Symptoms in Hindi
3. मोशन सिकनेस के कारण – Motion Sickness Causes in Hindi
4. मोशन सिकनेस के जोखिम कारक – Motion Sickness Risk Factor in Hindi
5. मोशन सिकनेस के लिए डॉक्टर को कब दिखाना चाहिए – When to see a doctor for Motion sickness in Hindi
6. मोशन सिकनेस का निदान – Motion Sickness Diagnosis in Hindi
7. मोशन सिकनेस के उपचार – Motion sickness treatment in Hindi
8. मोशन सिकनेस से बचने के तरीके – Motion sickness prevention in Hindi
मोशन सिकनेस की बीमारी wooziness की अनुभूति है। यह स्थिति आमतौर पर तब उत्पन्न होती है, जब कोई व्यक्ति कार, नाव, प्लेन (plane) या ट्रेन से यात्रा कर रहा होता है। शरीर के संवेदी अंग मस्तिष्क में मिश्रित संदेश भेजते हैं, जिसके परिणामस्वरूप चक्कर आना, बेहोशी या जी मिचलाने की भावनाएं उत्पन्न होती है। हालांकि कई व्यक्तियों को इस स्थिति से ग्रस्त होने की जानकारी नहीं होती हैं। यह संक्रामक बीमारी नहीं है। ज्यादातर इस बीमारी से सम्बंधित लक्षण लंबे समय के लिए नहीं रहते हैं।
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मोशन सिकनेस (गति की बीमारी) आमतौर पर पेट की ख़राबी का कारण बनता है। मोशन सिकनेस की स्थिति से ग्रस्त व्यक्ति अनेक प्रकार के लक्षणों का भी अनुभव कर सकते हैं, जिनमें शामिल हैं:
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जब व्यक्ति की इंद्रियों के बीच टकराव या भ्रम की स्थिति उत्पन्न होती हैं, तो उस व्यक्ति को मोशन सिकनेस के लक्षण प्रगट होते हैं।
मस्तिष्क सभी संवेदी अंगों जैसे- आंतरिक कान, आंख, मांसपेशियों और जोड़ों से संकेत प्राप्त करके प्रतिक्रिया देता है। लेकिन जब इन सभी संवेदी अंगों से प्राप्त होने वाले संकेत आपस में मेल नहीं खाते हैं, तो मोशन सिकनेस के लक्षण प्रगट होने लगते हैं। उदाहरण के लिए, यदि एक बस में सवारी करते समय व्यक्ति की आँखें स्थिर वस्तु को देखती हैं, जबकि उसके आंतरिक कान बस की गति के साथ केन्द्रित होते हैं, जिससे आँख और कान, मस्तिष्क को एक ही स्थिति के दो अलग-अलग सन्देश भेजते हैं।
अतः जब व्यक्ति का शरीर गति की स्थिति में होता है तो कान, आँख और मांसपेशियां अलग-अलग महसूस कर सकती हैं, जिससे मस्तिष्क इन सभी मिश्रित संकेतों में नहीं जा सकता है। यही कारण है कि सम्बंधित व्यक्ति चक्कर और गति की बीमारी से सम्बंधित अन्य लक्षणों को महसूस कर सकता है।
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यात्रा का कोई भी मोशन सिकनेस से सम्बंधित असुविधाओं के जोखिम को बढ़ा सकता हैं, जिसमें भूमि, हवा या पानी में यात्रा करना शामिल हो सकता है। कुछ स्थितियों में मनोरंजन की सवारी और बच्चों के खेल का मैदान में उपस्थिति गति के उपकरण भी मोशन सिकनेस की भावनाओं को प्रेरित कर सकते हैं।
2 से 12 वर्ष की आयु के बच्चों को मोशन सिकनेस से पीड़ित होने की संभावना सबसे अधिक होती है। इसके अतिरिक्त गर्भवती महिलाओं में भी इस बीमारी से सम्बंधित आंतरिक कान की गड़बड़ी का अनुभव होने की संभावना अधिक होती है, जो की मोशन सिकनेस का कारण बनता है।
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यात्रा समाप्त होने के बाद आमतौर पर मोशन सिकनेस की समस्या दूर हो जाती है। लेकिन यदि व्यक्ति को यात्रा के बाद भी चक्कर, सिरदर्द, उल्टी, सीने में दर्द, सुनने की क्षमता में कमी इत्यादि से सम्बंधित लक्षण प्रगट होते हैं, तो डॉक्टर से परामर्श लेना चाहिए।
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अकसर मोशन सिकनेस की स्थिति जल्द ही दूर हो जाती है और आमतौर पर चिकित्सकीय निदान की आवश्यकता नहीं होती है। ज्यादातर लोग इसे आसानी से महसूस कर सकते हैं क्योंकि यह बीमारी केवल यात्रा या अन्य विशिष्ट गतिविधियों के दौरान ही उत्पन्न होती है।
मोशन सिकनेस का उपचार करने के लिए अनेक प्रकार की दवाओं का उपयोग किया जा सकता है। यह दवाएं केवल लक्षणों की शुरुआत को रोकने में मदद कर सकती हैं। इसके अलावा इस बीमारी में उपयोग की जाने वाली दवाएं नींद आने की भावना को प्रेरित कर सकती हैं, इसलिए इस प्रकार की दवाओं का सेवन करने के दौरान मशीनरी या वाहन को चलाने की अनुमति नहीं दी जाती है।
अक्सर मोशन सिकनेस की बीमारी के तहत निर्धारित दवाओं में निम्न को शामिल किया जा सकता है:
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मोशन सिकनेस से सम्बंधित अन्य दवाओं में शामिल हैं:
नोट – किसी भी प्रकार की दवा का सेवन डॉक्टर की सलाह के बिना न करें।
ज्यादातर लोग मोशन सिकनेस के लिए अतिसंवेदनशील होते हैं। अतः जो व्यक्ति मोशन सिकनेस की बीमारी से पीड़ित हैं, वह कुछ उपाय अपनाकर इसे रोकने में मदद प्राप्त कर सकते हैं। बचाव सम्बन्धी उपाय में शामिल हैं:
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