Increase digestion in Hindi आज के समय में पाचन कि समस्या को लेकर सभी लोग परेशान रहते हैं, प्रत्येक व्यक्ति स्वादिष्ट भोजन करना चाहता हैं पर पेट कि समस्या को लेकर लोग अपनी इक्छा अनुसार भोजन नहीं कर पाते है। समय कि कमी के कारण लोग फ़ास्ट फ़ूड ओर जंक फ़ूड खाना पसंद करते हैं जिसके कारण पेट कि समस्या आम बात हैं जिससे पाचन कि समस्या हो जाती हैं। इससे बचने के लिए पाचन शक्ति बढ़ाने के घरेलू उपाय काफी असरदायक होते हैं, आप घर में उपलब्ध सामग्री से ही अपने पाचन शक्ति को आसानी से बड़ा सकते हैं।
पाचन हमारे शरीर का एक महत्वपूर्ण और जटिल कार्य है, हमारे शरीर में भोजन का पाचन मुख से प्रारंभ हो जाता हैं और गुदा तक चलता है, पाचन तंत्र में हमारे भोजन से पोषक तत्व को अवशोषित करता हैं और अपशिस्ट पदार्थ को बाहर निकाल देता हैं। लम्बे समय तक चलने वाली पाचन कि समस्या बड़ी बीमारी का कारण हो सकती हैं।
पाचन कि समस्या का कारण हैं भोजन का समय से न लेना ओर अधिक मसाले युक्त भोजन करना, अधिक मिर्च वाले भोजन को खाना आदि। इस प्रकार के भोजन हमारे पाचनतंत्र को प्रभावित करता हैं।
पाचन शक्ति कमजोर होने के मुख्य लक्षण हैं जैसे –
गैस बनना, भूक न लगना, एसिडिटी, पेट में जलन, अल्सर, खराब गंध या खट्टा सांस, जी मिचलाने की समस्या आदि।
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पाचन क्रिया को बढ़ने के लिए कुछ घरेलू उपाय नीचे दिए गए हैं। जिसमे से किसी का भी प्रयोग कर के आप अपने पाचन शक्ति को बढ़ा सकते हैं।
अदरक का प्रयोग तो हम सब के घर में होता ही हैं और हम सब इससे अच्छे से परिचित हैं। अदरक पेट के पाचनतंत्र के लिए बहुत ही लाभदायक होता हैं यह पाचन के लिये बहुत प्रसिद्ध हैं, अदरक हमारे पेट के अम्ल कि मात्रा को कम कर देता हैं अदरक में जिंजरोल और शोगोल नामक रसायन होते हैं जो पेट के पाचन शक्ति बढ़ाने में बहुत असरदायक सिद्ध होता हैं इसके लिए आप एक चम्मच बारीक़ कटा हुआ अदरक ले और एक कप पानी ले अब इस पानी में अदरक को डाल के उसे उबाल ले, उबलने के बाद जब ये थोड़ा ठंडा हो जाये तो इसमे शहद को मिला दे, अब आपको इसे भोजन से पहले या सोने से पहले 2 से 3 बार पीना है।
(और पढ़े – अदरक के फायदे, औषधीय गुण, उपयोग और नुकसान…)
पानी पाचन क्रिया का एक आवश्यक भाग हैं, पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए लाभदायक होता है हमारे शरीर को भोजन को पचाने के लिए पानी कि आवश्कता होती हैं, बिना पानी के पाचन संभव नहीं हैं पानी कि कमी के कारण पाचन होना कठिन हो जाता हैं, भोजन में से पोषक तत्व को अवशोषित करने के लिए पानी कि पर्याप्त मात्रा आवश्यक होती हैं पानी कि कमी के कारण उल्टी और दस्त जैसी समस्या हो सकती हैं।
सामान्यतः किसी स्वस्थ मनुष्य को पानी कि आवश्यकता प्रति दिन पुरुषों में 4 से 5 लीटर होती हैं और महिलाओं में 3से 4 लीटर होती हैं इसलिए हमें अधिक से अधिक पानी पीना चाहिए।
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पुदीना एक सांस फ्रेशनर है पर इसके साथ-साथ यह शरीर के लिए काफी फायदेमंद हैं यह एक एंटीस्पाज्मोडिक (Antispasmodic) हैं इसलिए पाचन शक्ति बढाने के लिए पुदीना आयुर्वेदिक दवा की तरह काम करता हैं इसे उल्टी और दस्त रोकने के लिए प्रयोग में लाया जाता हैं, पुदीना पेट में बनने वाली गैस के लिए पुराना इलाज माना जाता हैं। पुदीना कि कैंडी को चूसने से दर्द कम हो जाता हैं, इसके लिए आप को चाहिए पुदीना कि ताजी पत्ती 1 से 2 चम्मच और 2 कप पानी और शहद। उसके बाद पुदीना पत्ती को पानी में डाल के उसे उबाल ले और जब थोडा ठंडा हो जाये तो उसमे शहद मिला दे। ये आपको प्रति दिन 1 से 2 बार पीना हैं कुछ दिन बाद आप को इससे लाभ दिखाई देगा ।
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नीबू पानी पाचन के लिए बहुत लाभदायक होता हैं, नींबू की क्षारीय प्रकृति के कारण यह पेट कि अम्लीयता को खत्म कर देता हैं और यह पाचन शक्ति को बढाता हैं। नीबू विटामिन c का अच्छा स्त्रोत हैं नीबू के एक चम्मच रस को एक गिलास गर्म पानी में मिला के खाना खाने के पहले पीना हैं, कुछ दिन तक रोज इसका सेवन करने से आप के पाचन शक्ति में सुधर दिखाई देने लगेगा। इसे पिने के बाद साधारण पानी से कुल्ला कर ले जिस से अपने दांत को कोई हानि न पहुंचे।
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भारतीय परम्परा के अनुसार खाना खाने के बाद सौफ़ को दिया जाता हैं क्योंकि यह पाचन क्रिया को तेज करती हैं जिससे पाचन अच्छी तरह से होता हैं, सौंफ में एंटीस्पाज्मोडिक पाया जाता हैं जो कि अपचन को ठीक करने में मदद करता हैं, सौफ़ के सेवन से पेट की ऐठन और गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल जैसी समस्याओं को खत्म कर देता हैं इसके लिए आप को पानी में आधा चम्मच सौंफ पाउडर ले और उसको पानी में 10 मिनिट तक उबाले और जब भी आपको को पाचन सम्बन्धी कोई प्रोब्लम लगे तो आप इसका सेवन करे इससे आपको लाभ होगा।
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कैमोमाइल चाय पाचन क्रिया के लिए लाभदायक होती हैं कैमोमाइल चाय एंटी इंफ्लेमेटरी और एंटीस्पाज्मोडिक गुणों के कारण पाचन में लाभकारी हैं, कैमोमाइल चाय पीने से कई सारी पाचन समस्या ऐंठन, दस्त, और पेट कि मरोड़ (इर्रिटेबल बोवेल सिंड्रोम) जैसे समस्या दूर हो जाती हैं कैमोमाइल चाय अच्छी नींद और मन को शांत रखने के लिए फायदेमंद हैं, कैमोमाइल चाय बनाने के लिए उबलते हुये पानी में एक चम्मच कैमोमाइल चाय या उसके एक या दो चाय के टी बैग को 10 मिनिट के लिए रखे उसके बाद इसमे थोड़ा सा शहद मिला ले। अब इसके बनने के बाद आप इसे दिन में दो बार पिए आप को पाचन शक्ति बढ़ाने में इससे काफी लाभ होगा।
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कद्दू के बारे में तो सभी लोग अच्छे से जानते हैं हम सब के घर में कद्दू का उपयोग किया ही जाता हैं, लेकिन क्या आप को पता हैं कि कद्दू का प्रयोग हमारे पाचन को बढ़ने में किया जा सकता हैं, कद्दू में काफी अधिक मात्रा में फाइबर पाया जाता हैं तथा इसमे स्टार्च और चीनी कि बहुत कम मात्रा में पायी जाती हैं जो कि फाइबर कि अधिकता के कारण यह पाचन क्रिया में मदद करता हैं और डाइरिया और कब्ज जैसी समस्या को कम करता हैं। कद्दू का सेवन के लिए कद्दू को पहले छोटे छोटे टुकड़ो में काट लें और उनको पकायें और इनका सेवन करे इसके साथ आप किसी सूप को भी ले सकते हैं जो आपको अच्छा लगे, पाचन शक्ति कमजोर होने पर इसका सेवन आपको एक से दो हफ्ते तक रोज करना हैं।
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लौंग को हम सभी अच्छे से जानते हैं यह हम सभी के घर में होती हैं और इसका प्रयोग बहुत सारी जगह पर किसी ना किसी रूप में किया जाता हैं लौंग बहुत सारी बीमारियों में लाभकारी होती हैं, लौंग पाचन क्रिया में बहुत ही असरदायक हैं लौंग के गुण पेट में बनने वाली गैस को कम करते हैं गैस्ट्रिक स्राव बढ़ाने में मदद कर सकते हैं लौंग उल्टी और मतली जैसे समस्या के लिए भी लाभकारी हैं, यह पाचनतंत्र कि क्रिया को बढ़ा देता हैं। पाचन तंत्र मजबूत करने के लिए एक चम्मच लौंग पाउडर को लेके शहद के साथ दिन में एक बार सोने से पहले खांए, पाचन शक्ति बढ़ाने के लिए लौंग कि चाय भी पीना लाभकारी हैं।
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जीरा तो हम सब के घर होता हैं और इसका उपयोग हम प्रतिदिन खाना बनाने में करते हैं जीरा एक बहुत ही गुण कारी बीज हैं, इसका उपयोग हम पारंपरिक चिकित्सा के रूप में बहुत पहले से करते आ रहे हैं जीरा हमारे पाचन में बहुत लाभदायक होता हैं जीरा अपचन और पेट में बनने वाली गैस को खत्म कर देता हैं तथा पेट में आंत की सूजन को कम करता हैं इसे लेने का तरीका हैं कि जिस भी व्यक्ति को पाचन कि समस्या हैं वो एक से दो चम्मच जीरा पाउडर का प्रयोग अपने भोजन में करे या चाय के रुप में भी आप इसे ले सकते हैं।
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