Peach in Hindi आड़ू एक रसीला फल है जो ग्रीष्मकाल में पैदा होता है। स्वास्थ्य के लिए आड़ू के फायदे अनेक है यद दुनिया के कई देशों में उगाया जाता है और वहां कि जलवायु के अनुसार यह लाल से लेकर पीले रंग में भी होता है। आड़ू की बाहरी परत बहुत चिकनी होती है और यह रसदार (juicy) और ताजे सुगंध वाला पीला फल होता है। यह बाहर से देखने में बिल्कुल सेब जैसा होता है लेकिन अंदर के कठोर और बड़े बीज इसे सेब से अलग बनाते हैं। आड़ू का उपयोग जैम और जेली बनाने में किया जाता है। सेहत के लिए फायदेमंद होने के कारण आड़ू का उपयोग कई बीमारियों के इलाज में भी किया जाता है। आड़ू में कई पोषक तत्व पाए जाते है आइये जानते है आड़ू के फायदे और आड़ू के नुकसान के बारें में।
1. आड़ू में पाए जाने वाले पोषक तत्व Nutritional Value of Peach in Hindi
2. आड़ू खाने के फायदे – Aadu ke Fayde in Hindi
3. आड़ू खाने के नुकसान – Peach Side Effects in Hindi
आपको बता दें कि आड़ू में बहुत ही अधिक मात्रा में पोषक तत्व पाये जाते हैं जो स्वस्थ शरीर की क्रियाओं के लिए आवश्यक होते हैं। आड़ू विटामिन ए और बीटा-कैरोटीन का बहुत ही बढ़िया स्रोत है। इसमें एस्कार्बिक एसिड पाया जाता है और विटामिन ई, विटामिन K, विटामिनB1, B2, B3, B-6 के अलावा यह फोलेट और पेंटोथेनिक एसिड से भरपूर होता है। इसमें कम कैलोरी पायी जाती है और कोलेस्ट्रॉल भी कम होता है। इस कारण यह सेहत के लिए अधिक फायदेमंद माना जाता है।
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औषाधीय गुणों से भरपूर आड़ू में कई महत्वपूर्ण पोषक तत्व एवं खनिज मौजूद होने के कारण यह स्वास्थ्य के लिए बहुत ही लाभदायक होता है। आइये जानते हैं कि आड़ू खाने के क्या हैं फायदे।
आड़ू में फाइबर और क्षार (alkeline) की मात्रा होती है जिसके कारण यह पाचन क्रिया को बेहतर बनाए रखने में मदद करता है। आड़ू में मौजूद डाइटरी फाइबर पानी को अवशोषित करता है और पेट की बीमारियों जैसे कब्ज, बवासीर, पेट के अल्सर और गैस की समस्या को दूर करने में मदद करता है। यह आंत से विषाक्त पदार्थों को निकालकर आंत को साफ रखता है और शरीर को पेट संबंधी बीमारियों और पेट के कैंसर से बचाता है।
Peach आड़ू में बायोएक्टिव कंपोनेंट पाया जाता है और यह मोटापे की समस्या से लड़ने में बहुत लाभप्रद होता है। एक रिसर्च में पाया गया है कि आड़ू में फिनोलिक कंपाउंड पाया जाता है जो सूजनरोधी (anti-inflammatory )होता है और मोटापे की समस्या से लड़ने में मदद करता है और मेटाबोलिक सिंड्रोम को दूर को शरीर को गंभीर बीमारियों से बचाता है।आड़ू का उपयोग मोटापे की समस्या दूर करने में मदद करता है।
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पोषक तत्वों से भरपूर आड़ू में एस्कॉर्बिक एसिड (vitamin c) और जिंक मौजूद होता है जो इम्यून सिस्टम को बेहतर बनाता है और शरीर की क्रिया को ठीक रखता है। जिंक और विटामिन सी घाव भरने में सहायक होता है और संक्रमण से लड़ता है। इसके अलावा यह सर्दी, मलेरिया, निमोनिया और डायरिया जैसी बीमारियों को दूर करने में सहायक होता है। इन तत्वों की कमी होने पर शरीर की कई क्रियाएं गड़बड़ हो जाती हैं।
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एक रिसर्च में पाया गया है कि आड़ू में मौजूद फिनोलिक कंपाउंड एलडीएल नामक खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करता है और अच्छे कोलेस्ट्रॉल एचडीएल को बढ़ाता है। इससे हृदय संबंधी बीमारियां विकसित नहीं होती हैं और यह कार्डियोवैस्कुलर को स्वस्थ रखने में सहायक होता है।
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)आड़ू में कई सारे आवश्यक विटामिन और खनिज होते हैं जो प्रेगनेंसी में बहुत ही लाभदायक होते हैं। इसमें मौजूद विटामिन सी बच्चे के हड्डियों को शक्तिशाली बनाने, दांत, त्वचा, रक्त वाहिकाएं (blood vessels) और मांसपेशियों को मजबूत बनाने में मदद करता है। यह आयरन का भी अवशोषण करता है जो प्रेगनेंसी के दौरान बहुत जरूरी होता है। आड़ू में पाये जाने वाला पोटेशियम आमतौर पर प्रेगनेंसी में होने वाले थकान से बचाता है।
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आपको बता दें कि आड़ू में कार्बोहाइड्रेट होता है, जिसे खाने से डायबिटीज की समस्या नहीं होती है। एक मध्यम आकार के आड़ू में करीब 15 ग्राम कार्बोहाइड्रेट मिलता है जो डायबिटीज रोगियों के लिए बहुत फायदेमंद होता है। इसके अलावा आड़ू में और भी लाभदायक पोषक तत्व होते हैं जोकि अच्छे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होते हैं।
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स्वादिष्ट आड़ू में कैरोटीनॉयड और फिनोलिक कंपाउंड होता है जो कैंसर रोधी (anti cancer) का काम करता है और ब्रेस्ट कैंसर, लंग कैंसर, कोलोन कैंसर से हमें बचाता है। इसमें क्लोरोजेनिक और नियोक्लोरोजेनिक एसिड भरपूर मात्रा में पाया जाता है जो ब्रेस्ट कैंसर उत्पन्न करने वाली कोशिकाओं को सामान्य बनाता है। इसके इन्हीं गुणों के कारण कैंसर रोगियों को आड़ू का सेवन करने के लिए कहा जाता है।
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पर्याप्त मात्रा में विटामिन सी मौजूद होने के कारण आड़ू त्वचा की देखभाल के लिए अच्छा माना जाता है। यह हानिकारक मुक्त कणों और संक्रमण से लड़ता है। यह यू वी किरणों से भी त्वचा को बचाता है। इसमें जियाजैंथीन और ल्यूटीन नामक एंटीऑक्सीडेंट मौजूद होते हैं जो त्वचा के सूजन को दूर करने में फायदेमंद होते हैं। आड़ू का उपयोग चेहरे की क्रीम बनाने में भी किया जाता है।
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आड़ू बीटा-कैरोटीन से समृद्ध होता है जो शरीर में जाकर विटामिन ए में बदल जाता है। बीटा-कैरोटीन आंखों की रोशनी (eyes sight) को बेहतर बनाने में मदद करता है और आंखों की बीमारियों जीरोफ्थैलमिया (xerophthalmia) और अंधेपन से बचाता है। इसलिए आंखों की बेहतर रोशनी के लिए आड़ू का सेवन फायदेमंद होता है।
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स्टडी में पाया गया है कि आड़ू सेंट्रल कोलिनर्जिक सिस्टम को प्रभावी बनाने में लाभप्रद होता है। कोलिनर्जिक सिस्टम दिमाग का न्यूरोट्रांसमीटर सिस्टम होता है जो की याददाश्त से जुड़ा हुआ होता है। आड़ू में पाये जाने वाले यौगिक अल्जाइमर (Alzheimer ) जैसी दिमाग की बीमारियों को दूर करते हैं और आड़ू का उपयोग यादाश्त को दुरूस्त बनता हैं।
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फलों को कैंसर का रक्षक माना जाता है लेकिन एक स्टडी से पता चलता है कि नारंगी या पीले फल पुरुषों में कोलोरेक्टर कैंसर (colorectal cancer) का कारण हो सकते हैं। इसलिए आड़ू के सेवन से पहले यह ध्यान रखें।
आड़ू छोटी आंत में शर्करा का किण्वन सही तरीके से नहीं कर पाता है जिसकी वजह से गैस की समस्या हो जाती है और इसकी वजह से सूजन भी हो सकती है।
अधिक मात्रा में आड़ू खाने के नुकसान से आपको एलर्जी हो सकती है क्योकि इसमें सैलिसिलेट्स (salicylates) होता है जो एलर्जिक रिएक्शन उत्पन्न कर सकता है। अधिक मात्रा में आड़ू खाने से प्वाइजनिंग की भी समस्या हो सकती है।
आड़ू के बीजों में अधिक मात्रा में सायनाइड होता है इसलिए इसे खाते समय बचाकर खाएं अन्यथा परेशानी (disease)हो सकती है।
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