Alkanna tinctoria in Hindi रतनजोत आयुर्वेदिक औषधीय जड़ी बूटी है, रतनजोत के फायदे कई प्रकार के रोगों के उपचार के लिए होते हैं यह कोई आश्चर्य की बात नहीं है। अल्केनेट या रतनजोत मुख्य रूप से एक औषधीय जड़ी बूटी है। रतनजोत के लाभ हृदय को स्वस्थ रखने, वजन कम करने, गठिया का इलाज करने, सिरदर्द को कम करने, अनिद्रा का उपचार करने, बालों और त्वचा को स्वस्थ रखने, बुखार को कम करने, रक्तचाप को नियंत्रित करने, आंखों की रोशनी बढ़ाने, त्वचा का रूखापन दूर करने, दाद-खाज और खुजली से छुटकारा दिलाने, पेट के कीड़ों को खत्म करने आदि के लिए होते हैं। आज इस आर्टिकल में आप रतनजोत के फायदे और नुकसान संबंधी जानकारी प्राप्त करेगें। आइए जाने रतनजोत के फायदे, उपयोग और रतनजोत से संबंधित अन्य जानकारियां।
विषय सूची
1. रतनजोत क्या है – Ratanjot plant in Hindi
2. रतनजोत के पोषक तत्व – Ratanjot Nutrients in Hindi
3. रतनजोत का वानस्पतिक नाम – Ratanjot Botanical name in Hindi
4. रतनजोत के बीज – Ratanjot seed in Hindi
5. रतनजोत के पत्ते – Ratanjot leaves in Hindi
6. रतनजोत के फायदे – Alkanet Benefits in Hindi
7. रतनजोत के नुकसान – Ratanjot ke Nuksan in Hindi
रतनजोत एक औषधीय जड़ी बूटी है जिसे अल्कानेट के नाम से जाना जाता है। यह एक हर्बल पौधा है जो बोरगिनेस (Boraginaceae) परिवार से संबंधित है। रतनजोत का पौधा बारहमासी होता है जिसकी लंबाई लगभग 0.3 से 0.6 मीटर तक हो सकती है। यह पौधा सामान्य रूप से समशीतोष्ण वातावरण में अच्छी तरह से पनपता है। रतनजोत के फूल गहरे नींले रंग के होते हैं। इस पौधे की जड़ की ऊपरी त्वचा काले-लाल रंग की होती है। लेकिन इसकी जड़ गहरे लाल रंग की सामग्री का उत्पादन करती है। जिसके कारण प्राचीन समय में इस जड़ का उपयोग मुख्य रूप से डाई के रूप में किया जाता था। इसके अलावा रतनजोत का उपयोग वाइन, अल्कोहल टिंचर, वनस्पतिक तेलों और वार्निश को रंग देने के लिए भी किया जाता है।
रतनजोत मुख्यतः अपने अखाद्य बीज तेल (40%) के लिए जाना जाता है जिसमें औषधीय गुण पाये जाते हैं जिससे त्वचा बिमारियाँ, गठिया एवं लकवा का उपचार होता है।
रतनजोत पौधे का ताजा दूग्ध रक्त स्राव रोकने में सहायक होता है। दूग्ध का इस्तेमाल आमतौर से रक्त स्रावित घाव के उपचार में होता है। इसके अतिरिक्त दूग्ध का स्थानीय इस्तेमाल बवासीर, दाद, खाज, खुजली आदि बिमारीयों के उपचार में भी होता है। पत्तियों का काढ़ा बुखार कम करने में सहायक होता है। भूने बीज का इस्तेमाल जुलाब के रूप में कब्ज आदि बिमारियों के उपचार में सहायक होता है।
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रतनजोत अपने पोषक तत्वों की उच्च मात्रा होने के कारण औषधीय उपयोग में लिया जाता है। रतनजोत की रासायनिक संरचना इस प्रकार है :
रतनजोत (इथेनॉल एक्सट्रैक्ट) में पाए जाने वाले कुछ प्रमुख यौगिकों में ईथेन, 1-डाइक्लोरो, 1 एच-एनजोट्रिआजोल, 4 नाइट्रो, 2-क्लोराइथाइल मिथेनेसल्फोनेट और 4-डायजो आदि होते हैं। इसके अलावा नैप्टाक्विनोन (napthaquinones) भी मौजूद होता है।
रतनजोत एक पौधा है। जिसकी जड़ का उपयोग आयुर्वेदिक दवा बनाने के लिए किया जाता है।
गंभीर सुरक्षा चिंताओं के बावजूद, लोग डायरिया और पेट के अल्सर के लिए रतनजोत का उपयोग करते हैं।
कभी-कभी घावों को ठीक करने और त्वचा रोगों के इलाज के लिए रतनजोत को सीधे त्वचा पर लगाया जाता है।
रतनजोत में कुछ रसायन एंटीऑक्सिडेंट के रूप में कार्य कर सकते हैं और सूजन को भी कम कर सकते हैं।
रतनजोत का वानस्पतिक नाम अल्कन्ना तिनकोरिया (Alkanna Tinctoria) है। इसे आमतौर पर अल्केनेट कहा जाता है। कपड़ों को रंगने वाले इसे बग्लॉस कहा जाता है जबकि हिंदी में इसे रतनजोत के नाम से जाना जाता है कुछ लोग इसे लालजारी भी कहते हैं। इस जड़ी बूटी को मराठी और बंगाली में भी रतनजोत के नाम से ही जाना जाता है। अन्य भाषा में रतनजोत के नाम इस प्रकार हैं।
रतनजोत के पौधे के लगभग सभी भागों को औषधीय और व्यापारिक उपयोग किया जाता है। रतनजोत के बीज का उपयोग भी कई प्रकार से किया जाता है। क्योंकि रतनजोत के बीजों में पर्याप्त मात्रा में तेल होता है। इस तेल का उपयोग कई प्रकार के कृत्रिम ज्वलनशील पदार्थों के निर्माण में किया जाता है।
रतनजोत के पत्ते एक साथ दो के युग्म में होते हैं जिनकी लंबाई लगभग 1 से 2 इंच तक होतीहै। रतनजोत के पत्तियों के निचले हिस्से में मोटी मोटी नसे या डंठल होते हैं। जिन डंठलों में रतनजोत के पत्ते होते हैं उनकी लंबाई लगभग 8 इंच तक होती है। ये पत्तियां शुरुआती हिस्से में सकरी या संक्रीण होती हैं जिनकी मध्यम में चौडाई लगभग 1 इंच से लेकर 6 इंच तक होती है। इन पत्तियों की ऊपरी परत में छोटे-छोटे बाल युक्त रूए होते हैं।
कई अध्ययनों से पता चलता है कि रतनजोत औषधीय गुणों से भरपूर होता है। जिसके कारण रतनजोत के फायदे कई स्वास्थ्य समस्याओं को प्रभावी रूप से दूर कर सकते हैं। औषधीय लाभ प्राप्त करने के लिए इस पौधे के लगभग सभी हिस्सों का उपयोग किया जा सकता है। लेकिन विशेष रूप से इसकी जड़ का उपयोग सबसे ज्यादा होता है। आइए विस्तार से जानते हैं रतनजोत के फायदे और स्वास्थ्य लाभ क्या हैं।
रतनजोत की जड़ के लाभ दिल को स्वस्थ रखने में अहम भूमिका निभाते हैं। रतनजोत के औषधीय गुण शरीर में मौजूद उन विषाक्त पदार्थों को दूर करते हैं जो हृदय समस्याओं का कारण हो सकते हैं। इसके लिए आप पानी में रतनजोत की जड़ को कुछ देर के लिए भीगने दें और फिर इस पानी का सेवन करें। ऐसा करने से एल्केनेट की जड़ शरीर से विषाक्तता को बाहर निकालने और रक्त को अवशोषित करने के लिए दिल की कार्य क्षमता को बढ़ाने में मदद करती है। जिससे आप अपने हृदय को स्वस्थ रख सकते हैं।
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यदि आप अपना वजन कम करना चाहते हैं तो रतनजोत का उपयोग कर सकते हैं। क्योंकि रतनजोत जड़ के पाडउर के फायदे वजन को कम करने में मदद कर सकते हैं। इसलिए आपको वजन कम करने के लिए रासायनिक उत्पादों का सेवन करने के बजाय रतनजोत की जड़ का उपयोग करना चाहिए। इसके लिए आप नियमित रूप से रतनजोत की जड़ के पाउडर का सेवन करें। ऐसा करने से आपके शरीर में बिना किसी दुष्प्रभाव के वजन को कम करने में मदद मिल सकती है।
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रतनजोत में मौजूद औषधीय गुण रक्तचाप को नियंत्रित करने में सहायक होते हैं। उच्च रक्तचाप एक गंभीर समस्या है जिसका स्थाई इलाज संभव नहीं है। लेकिन प्राकृतिक औषधियों का सेवन कर आप इसके लक्षणों को नियंत्रित अवश्य कर सकते हैं। रतनजोत की जड़ में हाइपो-टेंस (hypo-tense) प्रभाव होता है जो आपकी हृदय प्रणाली को स्वस्थ रखने में सहायक होता है। जिससे आप उच्च रक्तचाप की समस्या को नियंत्रित कर सकते हैं। इसके अलावा रतनजोत के गुण रक्तवाहिकाओं में अवरोध को रोकने में मदद करते हैं। जिससे हार्ट अटैक की संभावना को कम किया जा सकता है।
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रतनजोत की जड़ में प्राकृतिक शीतलन गुण उच्च मात्रा में होते हैं। जिससे शरीर के तापमान को नियंत्रित करने में मदद मिलती है। यही कारण है कि आयुर्वेद पारंपरिक चिकित्सा में बुखार का उपचार करने के लिए रतनजोता का उपयोग किया जाता है। इसके अलावा रतनजोत में पसीने को प्रेरित करने वाले गुण भी होते हैं। जिससे बुखार से ग्रसित व्यक्ति की उपचार प्रक्रिया को तेज करने में मदद मिलती है। क्योंकि पसीने के माध्यम से बैक्टीरिया और शरीर के तापमान को बाहर निकालने में मदद मिलती है।
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गठिया एक बहुत ही कष्टदायक समस्या है जिसमें आमतौर पर शरीर के जोड़ों और मांसपेशियों में अत्याधिक दर्द होता है। लेकिन आपको चिंता करने की आवश्यकता नहीं है क्योंकि रतनजोत का उपयोग गठिया का इलाज कर सकता है। गठिया के उपचार के लिए रतनजोत के तेल का इस्तेमाल किया जा सकता है। दर्द प्रभावित क्षेत्र पर रतनजोत के तेल से मालिश करने पर नसों को आराम मिलता है जिससे दर्द के प्रभाव को कम करने में मदद मिलती है। इसके अलावा आप नियमित रूप से रतनजोत रूट पाउडर का सेवन भी कर सकते हैं। जो आपको भविष्य में गठिया से संबंधित समस्याओं से बचा सकता है।
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रतनजोत में एंटी-इंफ्लामेटरी गुण होते हैं जो शरीर में उचित रक्त परिसंचरण को बनाए रखने में सहायक होते हैं। शरीर में उचित रक्त प्रवाह न होने के कारण ही शरीर और सिर में दर्द हो सकता है। यदि आप भी सिर दर्द की समस्या से परेशान हैं तो रतनजोत की जड़ का उपयोग कर सकते हैं। रतनजोत की जड़ का सेवन करने पर यह सिर दर्द के साथ ही माइग्रेन की समस्या को भी दूर कर सकता है।
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आप अपने चेहरे में मौजूद निशानों और धब्बों के लिए कई प्रकार के रासायनिक उत्पादों का इस्तेमाल करते हैं। जबकि रतनजोत के फायदे स्किन स्कार्स को कम करने में सहायक होते हैं। रतनजोत में त्वचा को साफ करने की क्षमता होती है। इसलिए इसका उपयोग कई फेस मास्क और चेहरे की सफाई करने वाले उत्पादों में प्रमुख रूप से किया जाता है। रतनजोत की जड़ त्वचा को कई प्रकार के संक्रमण से बचा सकती है। क्योंकि इसकी प्रकृति एंटी-इंफ्लामेटरी होती है। जिसके कारण यह विशेष रूप से जले हुए निशानों का इलाज और उपचार कर सकता है। रतनजोत के फायदे सनबर्न जैसी समस्याओं को भी दूर करने में प्रभावी होते हैं।
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नियमित रूप से रतनजोत तेल का उपयोग करना आपकी अनिद्रा जैसी समस्याओं को दूर कर सकता है। रतनजोत के तेल में ऐसे घटक मौजूद होते हैं जो नींद कम करने वाले विकारों को प्रभावी रूप से दूर कर सकते हैं। नियमित रूप से रतनजोत के तेल से सिर की मालिश करना नींद को बढ़ावा देता है। क्योंकि रतनजोत का तेल मस्तिष्क में ऐसे हार्मोन को उत्तेजित करता है जो नींद को प्रेरित करते हैं। इसके अलावा रतनजोत के तेल का इस्तेमाल तनाव को कम करने में भी सहायक होता है। इसके लिए आप रात में सोने से पहले रतनजोत के तेल से सिर की मालिश करें और अपनी नाक के आस-पास इस तेल को लगाएं। ऐसा करने से आपको शांति का अनुभव होगा जो आपको अच्छी नींद लेने में सहायक होता है। इस तरह से आप रतनजोत तेल के फायदे अनिद्रा के उपचार के लिए प्राप्त कर सकते हैं।
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आप अपने बालों को स्वस्थ रखने के लिए रतनजोत की जड़ का उपयोग कर सकते हैं। रतनजोत की जड़ बालों को मजबूत करने और बालों संबंधी अन्य समस्याओं को प्रभावी रूप से दूर करने में सहायक होती हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि रतनजोत की जड़ में बालों को रंगने वाले प्राकृतिक गुण होते हैं जो बालों के लिए सुरक्षित होते हैं। नियमित रूप से रतनजोत की जड़ के पेस्ट और तेल का उपयोग करने पर यह बालों को प्राकृतिक रंग देने के साथ ही इन्हें झड़ने से बचाते हैं। यदि आप भी बाल झड़ने की समस्या से परेशान हैं तो रतनजोत की जड़ के लाभ ले सकते हैं।
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एंटी-वायरस और एंटी-बैक्टीरियल गुणों की मौजूदगी के कारण रतनजोत के फायदे त्वचा सबंधी संक्रमण को दूर करने में सहायक होते हैं। जैसा कि आप जानते हैं कि त्वचा हमारे शरीर का एक प्रमुख अंग है जिसका अधिकांश हिस्सा हमेशा खुला रहता है। जिसके कारण यह कई प्रकार के संक्रमण और बैक्टीरिया से प्रभावित हो सकती है। लेकिन आप अपनी त्वचा को स्वस्थ रखने और संक्रमण से बचाने के लिए रतनजोत की जड़ और तेल का उपयोग कर सकते हैं। नियमित रूप से उपयोग करने पर यह त्वचा कोशिकाओं को फ्री रेडिकल्स के प्रभाव से बचाता है। ये फ्री रेडिकल्स त्वचा में झुर्रियों का प्रमुख कारण होते हैं। आप इस प्रकार की त्वचा संबंधी समस्याओं से बचने के लिए रतनजोत तेल को अपने चेहरे पर लगा सकते हैं। इसके अलावा आप रतनजोत की जड़ के पाउडर का सेवन करना भी त्वचा के लिए लाभकारी होता है।
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बहुत से लोगों नाखून टूटने और बीच से फटने जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। इस तरह की समस्या से बचने के लिए रतनजोत की जड़ फायदेमंद होती है। यदि आप भी इस तरह की नाखून संबंधी समस्या से परेशान हैं तो रतनजोत के तेल का उपयोग कर सकते हैं। आप अपने प्रभावित नाखूनों में नियमित रूप से रतनजोत के तेल को लगाएं। ऐसा करने से आपको नाखूनों के आसपास होने वाली सूजन से छुटकारा मिल सकता है। साथ ही यह नाखून में होने वाले संक्रमण को भी दूर कर सकता है।
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दाद को ठीक करने के लिए भी रतनजोत की जड़ का उपयोग किया जाता है। हरपीज एक ऐसी त्वचा समस्या है जो त्वचा में खुजली और घाव बना सकती है। जिससे रक्तस्राव होना आम है। इस प्रकार की समस्या बैक्टीरिया के प्रभाव के कारण होती है। जिनके प्रभाव को कम करने के लिए आपको एंटी-वायरस प्रभाव की आवश्यकता होती है। रतनजोत की जड़ में एंटी-वायरस प्रभव होते हैं जिसके कारण आप हरपीज का इलाज कर सकते हैं। इसके लिए आप रतनजोत जड़ के पाउडर को पानी के साथ पेस्ट बनाएं और प्रभावित जगह पर लगाएं। नियमित रूप से कुछ दिनों तक ऐसा करने से आपको हरपीज से छुटकारा मिल सकता है।
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रतनजोत एक औषधीय जड़ी बूटी है जो कई प्रकार के स्वास्थ्य लाभ दिलाने में सहायक होती है।
दवा के रूप में अल्कन्ना का उपयोग करने के बारे में बहुत अधिक चिंता है, क्योंकि इसमें हेपेटोटॉक्सिक पाइरोलिज़िडिन एल्कलॉइड (पीए) नामक हानिकारक रसायन होते हैं। हेपेटोटॉक्सिक पीए, यकृत में नसों में रक्त के प्रवाह को अवरुद्ध कर सकता है और जिगर की क्षति का कारण बन सकता है। हेपेटोटॉक्सिक पीए भी कैंसर और जन्म दोष का कारण हो सकता है।
कटी हुई त्वचा के लिए रतनजोत लगाने के लिए भी सही नहीं है (UNSAFE) रतनजोत में खतरनाक रसायनों को कटी हुई त्वचा के माध्यम से जल्दी से अवशोषित किया जा सकता है और शरीर की खतरनाक विषाक्तता उत्पन्न हो सकती है। यह जानने के लिए पर्याप्त जानकारी नहीं है कि क्या यह रतनजोत को कटी त्वचा पर लगाना सुरक्षित है। इसलिए इसके उपयोग से बचना सबसे अच्छा है।
कुछ लोगों के लिए रतनजोत से नुकसान भी हो सकते हैं।
नोट – रतनजोत का उपयोग बालों और त्वचा के लिए बाहरी रूप में किया जा सकता है अन्य किसी भी उपचार में इसका इस्तेमाल करने से पहले औषधी विशेषज्ञ से सलाह अवश्य लें।
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