Yoni ka cancer in Hindi योनि कैंसर या वैजाइनल कैंसर एक दुर्लभ प्रकार का कैंसर है जो महिलाओं के योनि के ऊतकों (vaginal tissue) में होता है। भारत में हर साल लगभग 1,000 महिलाएं योनि के कैंसर से प्रभावित होती हैं। योनी के कैंसर के दो प्राथमिक प्रकार हैं- स्क्वैमस सेल कार्सिनोमा (squamous cell carcinoma) और एडेनोकार्सिनोमा (adenocarcinoma) योनि स्क्वैमस सेल कार्सिनोमा उन स्क्वैमस कोशिकाओं से उत्पन्न होता है जो योनि की लाइन के पास रहती है। यह योनि कैंसर का सबसे आम प्रकार है, और यह 60 वर्ष या उससे अधिक आयु वाली महिलाओं में सबसे अधिक पाया जाता है।
योनि एडेनोकार्सिनोमा योनि की लाइनिंग में ग्रंथियों की कोशिकाओं (glandular cells) से उत्पन्न होता है जो योनि में से एक तरह के तरल पदार्थों का उत्पादन करते हैं। एडेनोकार्सिनोमा की स्क्वैमस सेल कैंसर की तुलना में जल्दी फैलने की संभावना रहती है।
रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र (सीडीसी) के अनुसार, 75 प्रतिशत योनि कैंसर के मामलें एचपीवी की वजह से होते हैं। योनि कैंसर का पहला सबसे महत्वपूर्ण लक्षण है सेक्स के बाद योनि से खून निकलना।
आज इस लेख में हम जानेंगे की योनी का कैंसर क्या होता है इसके लक्षण कारण जांच इलाज जटिलतायें और बचाव क्या है।
विषय सूची
1. योनी का कैंसर क्या होता है – What is vaginal cancer in hindi
2. योनी कैंसर (वैजाइनल कैंसर) के प्रकार – Types of vaginal cancer in Hindi
- स्क्वैमस सेल कार्सिनोमा – Squamous cell carcinoma in hindi
- एडेनोकार्सिनोमा – Adenocarcinoma in hindi
3. योनी कैंसर के चरण – Vaginal cancer ke charan in hindi
- योनि कैंसर का पहला चरण – First stage of Vaginal cancer in hindi
- वैजाइनल कैंसर का दूसरा चरण – Second stage of Vaginal cancer in hindi
- योनि कैंसर का तीसरा चरण – Third stage of Vaginal cancer in hindi
- वैजाइनल कैंसर का चौथा चरण – Fourth stage of Vaginal cancer in hindi
4. योनी कैंसर के लक्षण – Vaginal cancer ke lakshan in hindi
5. योनी कैंसर के कारण और जोखिम कारक – Vaginal cancer ke karan aur jokhim karak in hindi
- आयु हो सकती है योनी कैंसर का कारण – Vaginal cancer ka karan age in hindi
- एचपीवी संक्रमण से हो सकता है योनी का कैंसर – Vaginal cancer ki vajah HPV in hindi
- हिस्टेरेक्टॉमी से हो सकता है योनी कैंसर – Vaginal cancer ka karan Hysterectomy in hindi
- पुराना सर्वाइकल कैंसर है कारण योनी कैंसर का – Vaginal cancer ka karan old cervical cancer in hindi
- विकिरण उपचार से होता है योनी का कैंसर – Vaginal cancer ki vajah radiation therapy in Hindi
- योनि पेसरी का उपयोग से होता है योनी कैंसर – Vaginal cancer ki vajah vaginal pessary istemaal karna in hindi
- Vaginal intraepithelial neoplasia के कारण योनी कैंसर – Vaginal cancer ka karan VAIN in hindi
6. योनी कैंसर की जांच – Vaginal cancer ki janch in hindi
7. योनी कैंसर का इलाज – Vaginal cancer ka ilaj in hindi
- रेडिएशन थेरेपी से योनी कैंसर का इलाज – Radiation therapy se vaginal cancer ka ilaj in hindi
- कीमोथेरेपी से योनी के कैंसर का इलाज – Chemotherapy se vaginal cancer ka ilaj in hindi
- सर्जरी से योनी कैंसर का इलाज – Surgery se vaginal cancer ka ilaj in hindi
8. योनी कैंसर से होने वाली जटिलतायें – Vaginal cancer se hone vali jatiltaye in hindi
9. योनी कैंसर से बचाव – Vaginal cancer se bachav in hindi
योनी का कैंसर क्या होता है – What is vaginal cancer in Hindi
वैजाइनल कैंसर या योनी का कैंसर एक बहुत ही दुर्लभ प्रकार का कैंसर है जो योनी के ऊतकों में होता है। योनी एक तरह की मांसपेशियों की ट्यूब जैसी होती है जो महिलाओं के गर्भाशय के मुंह से शरीर के बाहर की तरफ जाती है, जन्म के समय बच्चा इसी नाल के सहारे बाहर आता है। योनी के कैंसर का पता चलने पर शुरुआती दौर में तो इसका इलाज संभव है परन्तु ज्यादा देर करने पर यह घातक और जानलेवा हो सकता है।
(और पढ़े – कैंसर क्या है कारण लक्षण और बचाव के उपाय…)
योनी कैंसर (वैजाइनल कैंसर) के प्रकार – Types of vaginal cancer in Hindi
योनी कैंसर दो प्रकार के होते है-स्क्वैमस सेल कार्सिनोमा (squamous cell carcinoma) और एडेनोकार्सिनोमा (adenocarcinoma)
स्क्वैमस सेल कार्सिनोमा – Squamous cell carcinoma in Hindi
यह कैंसर स्क्वैमस कोशिकाओं में बनता है यह योनि की पतली और सीधी कोशिकाएं बनाता है। स्क्वैमस सेल योनि कैंसर धीरे-धीरे योनी में फैलता है और वैसे तो यह ज्यादातर योनि के पास ही रहता है, लेकिन यह फेफड़ों, लीवर या हड्डी तक फैल सकता है। योनि कैंसर का यह प्रकार योनि कैंसर का सबसे आम प्रकार है।
एडेनोकार्सिनोमा – Adenocarcinoma in Hindi
यह कैंसर ग्रंथियों की कोशिकाओं में शुरू होता है। योनि के अस्तर में ग्रंथियों की कोशिकाएं (glandular cells) बलगम जैसा तरल पदार्थ बनाती और उसे छोड़ती हैं। स्क्वैमस सेल कैंसर के मुकाबले फेफड़ों और लिम्फ नोड्स में एडेनोकार्सिनोमा के फैलने की अधिक संभावना होती है। यदि किसी महिला ने बच्चे के जन्म से पहले डायथाइलस्टिलबेस्ट्रोल (DES) (diethylstilbestrol) नाम के दुर्लभ ड्रग्स का सेवन किया है तो उस महिला को दुर्लभ प्रकार का एडेनोकार्सिनोमा होने की ज्यादा संभावना है (क्योकि 1950 में डॉक्टर DES का उपयोग महिलाओं को गर्भपात की स्थिति से बचाने के लिए करते थे परन्तु इसके कई दुष्प्रभाव हुए)।
(और पढ़े – गर्भपात (मिसकैरेज) के कारण, लक्षण और इसके बाद के लिए जानकारी…)
योनी कैंसर के चरण – Vaginal cancer ke charan in Hindi
योनी कैंसर के मुख्य चार चरण होते है जिनके हिसाब से डॉक्टर उनके लक्षण देखते है और जांच और इलाज करते है। योनि कैंसर के चार चरण है-
योनि कैंसर का पहला चरण – First stage of Vaginal cancer in Hindi
पहले चरण में अक्सर योनी की दीवार पर ही कैंसर पाया जाता है।
(और पढ़े – योनि के बारे में सम्पूर्ण जानकारी…)
वैजाइनल कैंसर का दूसरा चरण – Second stage of Vaginal cancer in Hindi
दूसरे चरण में कैंसर योनी की दीवार के माध्यम से योनी के चारों ओर ऊतकों में फैल जाता है। परन्तु पेल्विस तक नही पंहुच पाता है।
योनि कैंसर का तीसरा चरण – Third stage of Vaginal cancer in Hindi
तीसरे चरण में कैंसर पेल्विस की सतह तक पहुँच चुका होता है।
वैजाइनल कैंसर का चौथा चरण – Fourth stage of Vaginal cancer in Hindi
चौथे चरण के मुख्यता दो प्रकार होते है जैसे-
A- इस चरण का अर्थ है की योनि कैंसर एक या अधिक जगह पर जैसे मूत्राशय की लाइनिंग पर या मलाशय की लाइनिंग तक फैल चुका है, परन्तु पेल्विस के क्षेत्र जैसे गर्भाशय, मूत्राशय, अंडाशय और गर्भाशय ग्रीवा (cervix) तक नही पहुंच पाया है।
B- इस चरण में कैंसर उन जगह पर फैल चुका होता है जो योनी से दूर होते है जैसे फेफड़े और हड्डी।
(और पढ़े – अंडाशय का कैंसर: प्रारंभिक लक्षण, जाँच, और उपचार…)
योनी कैंसर के लक्षण – Vaginal cancer ke lakshan in Hindi
प्रारंभिक चरण के योनि कैंसर में अक्सर कोई लक्षण पैदा नहीं होते हैं, लेकिन यह नियमित जांच में पाए जा सकते हैं। बाद के चरण में योनि कैंसर के लक्षण दिखाई देने की अधिक संभावना होती है, परन्तु तब तक यह बहुत घातक हो चुका रहता है। इसके सबसे आम लक्षणों में से एक है संभोग के बाद असामान्य तरीके से योनि से खून बहना। यह अक्सर देखा जाने वाला पहला लक्षण है और यदि रजोनिवृत्ति के बाद महिलाओं में अगर किसी प्रकार का योनि से रक्तस्राव हो तो यह असामान्य हो सकता है तुरन्त इसकी जांच करवाई जानी चाहिए।
योनी कैंसर के कुछ अन्य लक्षणों में शामिल है-
- असामान्य योनि स्राव होना
- पेशाब करते समय कठिनाई या दर्द महसूस होना
- कब्ज की परेशानी होना
- सेक्स के दौरान दर्द महसूस होना
- पेल्विक पेन होना
- पैर या पैर के पीछे सूजन और पैर में दर्द होना
यदि आपको ऐसे कोई भी लक्षण दिखाई दे तो तुरन्त अपने डॉक्टर से सलाह ले और जांच करवाएं ये सभी लक्षण किसी अन्य बीमारी के भी हो सकते हैं।
(और पढ़े – महिलाओं में कैंसर के लक्षण…)
योनी कैंसर के कारण और जोखिम कारक – Vaginal cancer ke karan aur jokhim karak in Hindi
वैसे तो अभी तक डॉक्टर योनी कैंसर के सटीक कारणों का पता नहीं लगा पाएं हैं परन्तु यह माना जा रहा है की इसके कारणों के पीछे कई प्रकार के जोखिम कारक शामिल है, जिनमें से कुछ नीचे दिए गये हैं-
आयु हो सकती है योनी कैंसर का कारण – Vaginal cancer ka karan age in Hindi
60 वर्ष से अधिक आयु वाली महिलाओं को योनि कैंसर के होने का सबसे अधिक खतरा होता है।
(और पढ़े – खाएं ये चीजें, नहीं होगा ब्रेस्ट कैंसर…)
एचपीवी संक्रमण से हो सकता है योनी का कैंसर – Vaginal cancer ki vajah HPV in Hindi
ह्यूमन पेपिलोमा वायरस के संपर्क में आने से योनि के कैंसर होने का जोखिम बढ़ जाता है।
हिस्टेरेक्टॉमी से हो सकता है योनी कैंसर – Vaginal cancer ka karan Hysterectomy in Hindi
जिन महिलाओं की हिस्टेरेक्टॉमी सर्जरी हुई है, उन्हें योनि कैंसर होने की संभावना अधिक होती है।
पुराना सर्वाइकल कैंसर है कारण योनी कैंसर का – Vaginal cancer ka karan old cervical cancer in Hindi
यदि किसी महिला को पहले सर्वाइकल कैंसर रहा हो और महिला ने उसका किसी भी तरह का इलाज करवाया हो तो यह योनि कैंसर के लिए एक बहुत बड़ा जोखिम कारक है।
(और पढ़े – जानें सर्वाइकल कैंसर कैसे होता है…)
विकिरण उपचार से होता है योनी का कैंसर – Vaginal cancer ki vajah radiation therapy in Hindi
यदि किसी महिला ने पहले कभी विकिरण उपचार कराया हो तो यह भी कभी-कभी योनि कैंसर के होने की संभावना का कारण बन सकता है।
योनि पेसरी का उपयोग से होता है योनी कैंसर – Vaginal cancer ki vajah vaginal pessary istemaal karna in Hindi
यदि किसी महिला ने इनका उपयोग किया हो, जैसे कि पेल्विक ऑर्गन प्रोलैप्स के दौरान तो यह जोखिम में वृद्धि कर सकता है।
Vaginal intraepithelial neoplasia के कारण योनी कैंसर – Vaginal cancer ka karan VAIN in Hindi
ये कोशिकाएं सामान्य कोशिकाओं से बिल्कुल अलग होती हैं, लेकिन इनको कैंसर कोशिका नहीं कहा जा सकता है। परन्तु कुछ कारणों की वजह से कभी-कभी, ये कोशिकाएं कैंसर में विकसित हो जाती हैं।
एचपीवी के कारण होने वाले कई प्रकार के कैंसर जैसे योनि और सर्वाइकल कैंसर प्रीकैंसरियस घावों की वजह से हो सकते हैं। इसके लक्षण कैंसर से पहले विकसित होते हैं और इनका पता पैप स्मीयर टेस्ट के द्वारा लगाया जा सकता हैं।
(और पढ़े – पैप स्मीयर टेस्ट क्या होता है, प्रक्रिया, कीमत…)
योनी कैंसर की जांच – Vaginal cancer ki janch in Hindi
वैजाइनल कैंसर या योनी कैंसर की जांच करने के लिए डॉक्टर कई तरीके अपनाते है जैसे वह आपसे आपके परिवार के इतिहास के बारे में पूछ सकते है आपकी सेक्स लाइफ के बारे में जानकारी ले सकते और जो दवाईयां आप लेती है उनके बारे में भी पूछ सकते है, इसलिए अपने डॉक्टर से कभी कुछ ना छुपायें क्योकि आप सही जवाब देंगी तभी आपका सही तरह से इलाज संभव है।
इसके आलावा जांच की प्रक्रिया में कई तरह के टेस्ट भी शामिल है, जैसे-
पेल्विक परिक्षण(Pelvic exam) – इस परिक्षण में डॉक्टर आपके पेल्विक में महसूस हो रही असामान्यताओ की जांच करेंगे।
पैप स्मीयर (Pap smear) – यह परिक्षण सर्वाइकल कैंसर और योनी कैंसर की जांच के लिए किया जाता है।
कोलपोस्कोपी (Colposcopy) – इस जांच में गर्भाशय ग्रीवा (cervix) का परिक्षण किया जाता है और अगर डॉक्टर को पेल्विक एग्जाम या पैप स्मीयर जांच में किसी तरह की असामान्यता नजर आती है तो यह परिक्षण किया जा सकता है परन्तु अगर तब भी शंका हो तो बायोप्सी की जा सकती है।
बायोप्सी (Biopsy) – बायोप्सी में छोटे ऊतकों (tissues) के नमूने लिए जाते हैं और जांच की जाती है। बायोप्सी की जांच आमतौर पर कोलपोस्कोपी के साथ ही की जाती है।
(और पढ़े – बायोप्सी कराने का उद्देश्य, तरीका, फायदे और नुकसान…)
योनी कैंसर का इलाज – Vaginal cancer ka ilaj in Hindi
योनी कैंसर के इलाज के कई तरीके है जिनका निवारण उनके प्रकार और चरण के हिसाब से किया जाता है, जैसे –
रेडिएशन थेरेपी से योनी कैंसर का इलाज – Radiation therapy se vaginal cancer ka ilaj in Hindi
रेडिएशन थेरेपी में एक्स रे जैसी उच्च उर्जा वाली लाइट का उपयोग किया जाता है जो कैंसर कोशिकाओ को खत्म करने का काम करती हैं। रेडिएशन थेरेपी कैंसर कोशिकाओ को मारती तो है, परन्तु यह आसपास की स्वस्थ कोशिकाओ को भी नुकसान पहुँचाती है जिसके कई दुष्प्रभाव हो सकते है, लेकिन यह दुष्प्रभाव इसकी तीव्रता और स्थान पर निर्भर होते है।
(और पढ़े – एक्स-रे क्या है, क्यों किया जाता है, कीमत और तरीका…)
कीमोथेरेपी से योनी के कैंसर का इलाज – Chemotherapy se vaginal cancer ka ilaj in hindi
कीमोथेरेपी में कैंसर कोशिकाओं के विकास को रोकने के लिए दवाओं का उपयोग किया जाता है, यह दवाईयां या तो कैंसर कोशिकाओं को मार देती है या उन्हें विभाजित होने से रोक देती है। यदि कीमोथेरेपी मुंह के द्वारा ली जाती है या नस या मांसपेशियों में इंजेक्ट की जाती है, तो दवाएं रक्तप्रवाह में प्रवेश करती हैं और पूरे शरीर में कैंसर कोशिकाओं को प्रभावित करती हैं जिसे सिस्टमिक कीमोथेरेपी कहा जाता है। और जब कीमोथेरेपी को मस्तिष्कमेरु द्रव (cerebrospinal fluid), किसी अंग, या शरीर की कैविटी जैसे कि पेट में सीधे रखा जाता है, तो दवाएं मुख्य रूप से आसपास के क्षेत्रों में कैंसर कोशिकाओं को प्रभावित करती हैं जिसे रीजनल कीमोथेरेपी कहा जाता है। किस तरह की कीमोथेरेपी देनी है वह कैंसर के उपचार के प्रकार और अवस्था पर निर्भर करता है।
(और पढ़े – कीमोथेरेपी क्या है फायदे और नुकसान…)
सर्जरी से योनी कैंसर का इलाज – Surgery se vaginal cancer ka ilaj in Hindi
सर्जरी योनि कैंसर के इलाज के लिए सबसे आम उपचार है। इसमें निम्न प्रकार के सर्जिकल प्रक्रियाओं का उपयोग किया जाता है, जैसे-
लेजर सर्जरी – यह एक ऐसी सर्जिकल प्रक्रिया जिसमें लेजर बीम (तीव्र प्रकाश की एक संकीर्ण बीम) का उपयोग चाकू के रूप में ऊतक में रक्तहीन कट लगाने या ट्यूमर जैसे सतही घाव को हटाने के लिए किया जाता है।
वाइल्ड लोकल एक्ससिसीजन – यह एक शल्य प्रक्रिया है जो कैंसर के साथ साथ उसके आस-पास के कुछ स्वस्थ ऊतकों को भी बाहर निकाल देती है।
वैजाइनेक्टॉमी – यह सर्जरी योनि के सभी या कुछ हिस्सों को हटाने के लिए की जाती है।
टोटल हिस्टेरेक्टॉमी – यह सर्जरी गर्भाशय और गर्भाशय ग्रीवा (cervix) को हटाने के लिए की जाती है। यदि योनि के माध्यम से गर्भाशय और गर्भाशय ग्रीवा को बाहर निकाला जाता है, तो इस तरह की सर्जरी को योनि हिस्टेरेक्टोमी कहा जाता है और यदि गर्भाशय और गर्भाशय ग्रीवा को पेट में एक बड़ा चीरा (कट) लगा के निकाला जाता है, तो उस सर्जरी को टोटल एबडोमिनल हिस्टेरेक्टॉमी कहा जाता है। यदि लेप्रोस्कोप का इस्तेमाल करके गर्भाशय और गर्भाशय ग्रीवा को पेट में एक छोटा चीरा लगा कर निकाला जाता है, तो उस सर्जरी को टोटल लेप्रोस्कोपिक हिस्टेरेक्टोमी कहा जाता है।
लिम्फ नोड डीसेक्शन – यह एक शल्य प्रक्रिया है जिसमें लिम्फ नोड्स को हटा दिया जाता है और कैंसर के संकेतों की जांच के लिए ऊतक का एक नमूना लिया जाता है जिसे माइक्रोस्कोप से जांचा जाता है, इस प्रक्रिया को लिम्फैडेनेक्टॉमी भी कहा जाता है। यदि कैंसर ऊपरी योनि में होता है, तो पेल्विस के लिम्फ नोड्स को हटा दिया जाता है और यदि कैंसर योनि के निचले हिस्से में है, तो कमर में से लिम्फ नोड्स को हटाया जा सकता है।
(और पढ़े – हिस्टेरेक्टॉमी (गर्भाशय को निकालना) प्रक्रिया, कैसे की जाती है…)
योनी कैंसर से होने वाली जटिलतायें – Vaginal cancer se hone vali jatiltaye in Hindi
योनी कैंसर से कई प्रकार की जटिलतायें उत्पन्न हो सकती है, जैसे-
- योनी का कैंसर शरीर के अन्य हिस्सों में फैल सकता है जैसे फेफड़े, लीवर या पेल्विस की हड्डियों में।
- कई बार योनी कैंसर के उपचार के बाद मरीज अवसादग्रस्त हो जाता है।
- कई बार पूरी तरह इलाज करवाने के बाद भी दोबारा इसके लक्षण दिखाई दे सकते है।
- और भी कई तरह की जटिलतायें हो सकती है अगर आपको ऐसी कोई भी परेशानी नजर आये तो तुरन्त अपने डॉक्टर से संपर्क करें।
(और पढ़े – फेफड़ों का कैंसर कारण, लक्षण, इलाज और रोकथाम…)
योनी कैंसर से बचाव – Vaginal cancer se bachav in Hindi
योनी कैंसर से बचाव का सबसे अच्छा तरीका है कि कोई भी महिला एचपीवी वायरस से संक्रमित होने से खुद को बचाएं, HPV एक बेहद आम यौन संचारित वायरस है। वास्तव में, लगभग 80 प्रतिशत यौन सक्रिय पुरुष और महिलाएं अपने जीवन में कभी ना कभी एचपीवी से संक्रमित होते हैं।
एचपीवी गर्भाशय ग्रीवा के कैंसर सहित कई अन्य प्रकार के कैंसर का कारण बनता है। कई शोधकर्ताओं का ऐसा मानना है कि योनि कैंसर और एचपीवी के बीच एक संबंध हो सकता है।
योनि कैंसर से बचाव के लिए अन्य कारक भी मददगार हो सकते हैं, जैसे-
- कई सहयोगियों के साथ संभोग करने से बचें।
- किसी ऐसे व्यक्ति के साथ संभोग करने से बचें, जिसके कई साथी रहे हों।
- सुरक्षित यौन संबंध बनाएं (हालांकि कंडोम पूरी तरह से एचपीवी से सुरक्षा नहीं कर सकता है)।
- असामान्य लक्षणों पर ध्यान दें और उनका इलाज करने के लिए नियमित पैप परीक्षण करवाएं।
- धूम्रपान करना बंद करें।
शोधकर्ता अभी भी योनि कैंसर के कारणों और इसे रोकने के तरीकों की जांच कर रहे हैं परन्तु अभी इस बीमारी को पूरी तरह से रोकने का कोई तरीका नहीं है, इसलिए ऊपर दी गई सलाह का पालन करके आप इस तरह के कैंसर के जोखिम को कम कर सकती हैं। Vaginal cancer in Hindi योनि कैंसर एक दुर्लभ प्रकार का कैंसर है जो महिलाओं के योनि के ऊतकों (vaginal tissue) में बनता है।
(और पढ़े – प्रोस्टेट कैंसर क्या है, कारण, लक्षण, जांच और इलाज…)
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Reference
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