vitamin A in hindi: विटामिन ए वसा में घुलनशील विटामिन है। यह त्वचा, हड्डियों और शरीर की अन्य कोशिकाओं को मजबूत रखने में काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। विटामिन ए में एंटीऑक्सीडेंट मौजूद होता है जो कोशिकाओं को क्षतिग्रस्त होने से बचाता है। इसके अलावा भी विटामिन ए के अन्य कई फायदे हैं। विटामिन ए मुक्त कणों को टूटने से रोकता है और हमारे शरीर से सूजन संबंधी समस्या नहीं उत्पन्न होने देता है। भोजन में भरपूर मात्रा में एंटीऑक्सीडेंट युक्त विटामिन ए लेने से उम्र अधिक नहीं दिखती है। इसके अलावा विटामिन ए के फायदे इम्यून सिस्टम के कार्यों को बेहतर बनाते है और हृदय, फेफड़े, किडनी और अन्य आवश्यक अंगों के कार्यों को भी सामान्य रखता है।
1.विटामिन ए की कमी के लक्षण- Vitamin A deficiency symptoms in Hindi
2.विटामिन ए के स्रोत – Sources of Vitamin A in hindi
3.विटामिन ए सेहोने वाले फायदे- Benefits of Vitamin A in hindi
4.विटामिन ए से स्वास्थ्य को होने वाले नुकसान – side effects of Vitamin A in hindi
Vitamin A विटामिन ए दो प्राथमिक रूपों में पाया जाता है जिसे एक्टिव विटामिन और बीटा विटामिन के नाम से जाना जाता है। एक्टिव विटामिन जानवरों के मांस, लीवर और डेयरी प्रोडक्ट में पाया जाता है जिसे रेटिनॉल कहते हैं। अन्य प्रकार का विटामिन ए सब्जियों और फलों से पाया जाता है, जिसे कैरोनॉयड के नाम से जानते हैं। यह शरीर द्वारा भोजन पचने के बाद रेटिनॉल में परिवर्तित किया जाता है।
विटामिन ए के सबसे अच्छे स्रोतों में अंडा, दूध, यकृत, गाजर, पीली या नारंगी सब्जियां जैसे स्क्वैश, पालक, स्वीट पोटैटो, काले, पपीता, अंडे की जर्दी, दूध, दही, सोयाबीन और अन्य पत्तेदार हरी सब्जियां शामिल हैं।
स्टडी में यह पाया गया है कि विटामिन डी एक बढ़िया एंटीऑक्सीडेंट है जो शरीर को लंबे समय तक स्वस्थ बनाए रखता है। इसके अलावा यह आंखों के लिए भी काफी फायदेमंद होता है, इम्यून सिस्टम को बेहतर बनाता है और कोशिकाओं की संख्या में वृद्धि करता है। पोषण विशेषज्ञ अधिक विटामिन युक्त फल, सब्जियां, होल फूड आदि खाने की सलाह देते हैं।
विटामिन ए रोटोप्सिन का एक महत्वपूर्ण भाग है। जब हमारी आंखों की रेटिना पर रोशनी पड़ती है तो यह सक्रिय हो जाता है और दिमाग को सिग्नल भेजता है। इसी कारण हम कोई वस्तु देख पाते हैं। बीटा कैरोनॉयड भी विटामिन ए का रूप है जो पौधों में पाया जाता है। यह आंखों के धुंधलेपन को दूर करता है जिससे उम्र के साथ आंखों से कम दिखाई देने की समस्या उत्पन्न नहीं होती है।
राष्ट्रीय नेत्र संस्थान द्वारा की गई एक स्टडी के अनुसार उम्र बढ़ने के साथ आंखों की रोशनी कम होती है लेकिन जो लोग विटामिन ए, विटामिन सी, विटामिन ई, जिंक और कॉपर युक्त भोज्य पदार्थों का सेवन करते हैं उनमें 25 प्रतिशत तक यह समस्या घट जाती है।
हमारे शरीर के इम्यून सिस्टम का कार्य प्रचुर मात्रा में विटामिन ए पर ही निर्भर रहता है। इसलिए विटामिन ए इम्यून सिस्टम को बेहतर बनाने में काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह जीन नियंत्रित करता है जो कैंसर और ऑटो इम्यून जैसी गंभीर बीमारियों से लड़ने के अलावा संक्रमण से भी शरीर को सुरक्षा प्रदान करता है। बीटा कैरोटीन विशेषतौर से बच्चों में प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ाती है। एक स्टडी के अनुसार विटामिन ए की उच्च मात्रा बाल मृत्युदर को 24 प्रतिशत कम कर देती है। विटामिन ए की कमी से बच्चों में डायरिया और खसरा भी हो सकता है।
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)विटामिन ए में एंटीऑक्सिडेंट गुण पाये जाते हैं जो कि शरीर में मुक्त कणों को बेअसर करते हैं जिससे ऊतक और कोशिकाओं की क्षति होती है। विटामिन ए कोशिकाओं को अधिक सक्रिय होने से रोकता है। जब इम्यून सिस्टम खाद्य प्रोटीन के प्रति अधिक सक्रिय हो जाता है तो शरीर में फूड एलर्जी और सूजन बढ़ने लगती है। विटामिन ए इस तरह की फूड एलर्जी को बेअसर करता है और शरीर को खतरनाक बीमारियों से बचाता है। विटामिन ए के फायदे शरीर में सूजन का स्तर कम होती है और अल्जाइमर और पर्किंसन जैसी बीमारियां नहीं होती हैं।
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विटामिन ए के फायदे किसी घाव को भरने और त्वचा के फिर से बनने के लिए आवश्यक है। यह त्वचा की कोशिकाओं को बनने में आतंरिक और वाह्य रूप से सहायता करता है और स्किन कैंसर से लड़ने में मदद करता है। ग्लाइकोप्रोटीन के निर्माण में विटामिन ए की जरूरत होती है जो कोशिकाओं को जुड़ने और ऊतकों के बनने में सहायक होता है।
विटामिन ए की कमी से त्वचा का रंग फीका पड़ने लगता है। विटामिन ए कील-मुंहासों को दूर कर त्वचा को स्वस्थ रखने में मदद करता है। यह अधिक कोलेजन उत्पन्न करता है और त्वचा को झुर्रियों से बचाता है और आपको जवान रखता है। इसके अलावा विटामिन ए बालों को भी मजबूती प्रदान करता है।
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Vitamin A विटामिन ए शरीर में घातक कोशिकाओं के निर्माण को रोकता है और कई रूपों में कैंसर से रक्षा करता है। रेटिनोइक एसिड कैंसर के इलाज में काफी सहायक है। फेफड़े, स्तन, गर्भाशय, ब्लैडर, मुख और त्वचा के कैंसर को रेटिनोइक एसिड द्वारा दबाया जा सकता है। स्टडी में पाया गया है कि मेलानोमा, हेपेटामा, फेफड़ों के कैंसर, स्तन कैंसर और प्रोस्टेट कैंसर में रेटिनोइक एसिड सहायक है। शोधकर्ताओं ने पाया कि रेटिनोइक एसिड में कैंसर कोशिकाओं को नियंत्रित करने के गुण पाए जाते हैं। हमेशा ध्यान रखें की विटामिन ए का सप्लिमेंट लेने की बजाय इसे सीधे भोजन या इसके त्रोत से हासिल करें।
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विटामिन ए के फायदे बहुत हैं लेकिन यदि सही मात्रा से जादा लेने पर इसके कुछ नुकसान भी है। विटामिन ए के सप्लिमेंट से अधिक मात्रा में विटामिन ए लेने से या इसके अन्य एंटीऑक्सीडेंट लेने से जन्म दोष, हड्डियां कमजोर और लीवर संबंधी समस्या हो सकती है। (और पढ़े – लीवर की कमजोरी कारण लक्षण और दूर करने के उपाय)
अधिक मात्रा में विटामिन ए लेने से पीलिया, मितली, उल्टी, भूख की कमी, चिड़चिड़ापन और बाल झड़ना जैसी समस्याएं हो सकती है। अगर आप विटामिन ए का सप्लिमेंट लेते हैं तो इसे कम मात्रा में या डॉक्टर की सलाह से लें। इसकी ज्यादा मात्रा लेने पर किडनी या लीवर की बीमारी हो सकती है
विटामिन ए की अधिकता से स्किन ड्राई, जोड़ों में दर्द, उल्टी, सिरदर्द और भ्रम की समस्या हो जाती है। अगर आप गर्भनिरोधक गोलियां, कील मुंहासे को ठीक करने की दवाई या कैंसर के इलाज के अलावा अन्य कोई दवा ले रहे हैं तो विटामिन ए इनके प्रभाव को निष्क्रिय कर सकता है।
अगर आप कोई दवा खाते हैं तो विटामिन ए का सप्लिमेंट लेने से पहले डॉक्टर से परामर्श ले लें। विटामिन ए के सप्लिमेंट में रेटिनॉयड अधिक मात्रा में होता है जिससे हमें कई स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं।
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