Vitamin Ki Kami Se Hone Wale Rog विटामिन वे कार्बनिक यौगिक होते हैं, जिनकी आवश्यकता जीवन को बनाए रखने के लिए बहुत कम मात्रा में होती है। मानव शरीर में अधिकांश विटामिन की पूर्ति भोजन के माध्यम से होती है। शरीर में अलग-अलग विटामिन की अलग-अलग भूमिकाएँ होती हैं, तथा ये प्रत्येक व्यक्ति के लिए भिन्न-भिन्न मात्रा में जरुरी होते है। आज के इस लेख में आप जानेंगे कि विटामिन क्या हैं, विटामिन की कमी से कौन कौन से रोग होते हैं तथा इसके स्त्रोत क्या हैं।
विषय सूची
1. विटामिन क्या होते है – What is Vitamin in hindi
2. विटामिन A क्या है – vitamin A in hindi
- विटामिन A की कमी के होने वाले रोग – Vitamin A ki kami se hone wale rog in hindi
- विटामिन ए के स्रोत – Vitamin A Source in hindi
3. विटामिन बी क्या है – Vitamin B in hindi
- विटामिन बी1 – Vitamin B1 in hindi
विटामिन बी1 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B1 ki kami se hone wali bimari in hindi
विटामिन बी 1 के स्रोत – Vitamin B1 sources in hindi - विटामिन बी 2 – Vitamin B2 in hindi
विटामिन बी2 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B2 deficiency diseases in hindi
विटामिन बी 2 के स्रोत – Vitamin B2 sources in hindi - विटामिन बी 3 – Vitamin B3 in hindi
विटामिन बी3 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B3 ki kami se hone wale rog in hindi
विटामिन बी 3 के स्रोत – Vitamin B3 sources in hindi - विटामिन बी 5 – Vitamin B5 in hindi
विटामिन बी5 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B5 ki kami se hone wale rog in hindi
विटामिन बी 5 के स्रोत – Vitamin B5 sources in hindi - विटामिन बी 6 – Vitamin B6 in hindi
विटामिन बी6 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B6 ki kami se hone wale rog in hindi
विटामिन बी6 के स्रोत – Vitamin B6 sources in hindi - विटामिन बी 7 – Vitamin B7 in hindi
विटामिन बी 7 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B7 ki kami se hone wale rog in hindi
विटामिन बी 7 के स्रोत – Vitamin B7 sources in hindi - विटामिन बी 9 – Vitamin B9 in hindi
विटामिन बी9 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B9 ki kami se hone wale rog in hindi
विटामिन बी9 के स्रोत – Vitamin B9 sources in hindi - विटामिन बी 12 – Vitamin B12 in hindi
विटामिन बी12 की कमी से रोग – Vitamin B12 deficiency diseases in hindi
विटामिन बी 12 के स्रोत – Vitamin B12 sources in hindi
4. विटामिन C क्या है – What is Vitamin C in hindi
- विटामिन C की कमी से होने वाले रोग – vitamin c ki kami se hone wale rog in hindi
- विटामिन सी के स्रोत – Sources of vitamin C in hindi
5. विटामिन D क्या है – What is Vitamin D in Hindi
- विटामिन D की कमी से होने वाले रोग – Vitamin D ki kami se hone wale rog in Hindi
- विटामिन D स्रोत – Vitamin D Sources in Hindi
6. विटामिन ई क्या है – Vitamin E in Hindi
- विटामिन ई की कमी से होने वाले रोग – Vitamin E ki kami se hone wale rog in Hindi
- विटामिन ई के स्रोत – Vitamin E sources in Hindi
7. विटामिन K क्या है – What is Vitamin K in hindi
- विटामिन के की कमी से होने वाले रोग – Vitamin K ki kami se hone wale rog in Hindi
- विटामिन के के स्रोत – Vitamin k sources in hindi
विटामिन क्या होते है – What is Vitamin in Hindi
“विटामिन” शब्द का सर्प्रथम प्रयोग 1911 में बायोकेमिस्ट कासिमिर फंक (Casimir Funk) द्वारा किया गया था। अर्थात विटामिन की खोज का श्रेय कासिमिर फंक (Casimir Funk) को जाता है। विटामिन भोजन में प्राकृतिक रूप से पाए जाने वाले कार्बनिक यौगिक हैं, जो जीवों के लिए विभिन्न शारीरिक क्रियाओं जैसे- ऊर्जा उत्पादन करने और लाल रक्त कोशिकाओं को बनाने के लिए बहुत कम मात्रा में आवश्यक होते हैं। विटामिन को शरीर द्वारा स्वयं उत्पन्न नहीं किया जाता है, ये आहार के माध्यम से प्राप्त होते हैं।
मानव शरीर के लिए आवश्यक विटामिन की संख्या 13 होती है, जिनमें से 8 विटामिन बी समूह के होते हैं या विटामिन बी-कॉम्प्लेक्स बनाते हैं। आवश्यक 13 विटामिन हैं- विटामिन ए, विटामिन सी, विटामिन डी, विटामिन ई, विटामिन के, और विटामिन बी-कॉम्प्लेक्स ( बी1, बी2, बी3, बी5, बी6, बी7, बी9, बी12)।
चूँकि मानव शरीर में अलग अलग विटामिन का अलग अलग कार्य होता है इस बजह से मानव शरीर में किसी विशेष विटामिन की कमी से विशिष्ट रोग हो सकते हैं। इस आर्टिकल में विभिन्न प्रकार के विटामिन और उनकी कमी से होने वाले रोगों का वर्णन किया गया है।
(और पढ़े – स्वस्थ आहार के प्रकार और फायदे…)
विटामिन A क्या है – vitamin A in Hindi
विटामिन A को रासायनिक रूप से बीटा कैरोटीन (beta-carotene), रेटिनोल (Retinol), रेटिनाल (Retinal) और कैरोटीनॉयड (Carotenoids) आदि नामों से जाना जाता है।
विटामिन ए वसा में घुलनशील विटामिन का एक प्रकार है। यह त्वचा, हड्डियों और शरीर की अन्य कोशिकाओं को मजबूत रखने में काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। विटामिन ए में एंटीऑक्सीडेंट मौजूद होता है, जो कोशिकाओं को क्षतिग्रस्त होने से बचाता है। भोजन के माध्यम से भरपूर मात्रा में एंटीऑक्सीडेंट युक्त विटामिन ए का सेवन करने से उम्र अधिक नहीं दिखती है। इसके अलावा विटामिन ए के अनेक फायदे होते हैं, जैसे- इम्यून सिस्टम के कार्यों को बेहतर बनाते है तथा हृदय, फेफड़े, किडनी और अन्य आवश्यक अंगों के कार्यों को भी सामान्य रखता है।
रेटिनॉल (Retinol) रक्त में पाए जाने वाले विटामिन ए का सक्रिय रूप है। रेटिनायल पामिटेट (Retinyl palmitate) विटामिन ए का भंडारण रूप है। बीटा-कैरोटीन (Beta-carotene) या कैरोटीनॉयड (Carotenoid) पौधों में पाया जाने वाला विटामिन A का एक रूप है। प्रो-विटामिन ए (pro-vitamin A) को फलों, सब्जियों और अन्य पौधों पर आधारित उत्पादों में संग्रहीत किया जाता है। यह “प्रो-विटामिन” एक एंटीऑक्सिडेंट है, जो शरीर द्वारा आवश्यकतानुसार विटामिन ए में परिवर्तित हो जाता है।
(और पढ़े – विटामिन ए के फायदे, स्रोत और इसके नुकसान…)
विटामिन A की कमी के होने वाले रोग – Vitamin A ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन A की कमी मुख्य रूप से निम्न रोगों का कारण बनती है, जैसे:
- रतौंधी (night blindness)
- संक्रमण का उच्च जोखिम, विशेष रूप से गले (throat), छाती और पेट में
- कूपिक हाइपरकेराटोसिस (follicular hyperkeratosis), जो सूखी, ऊबड़ त्वचा का कारण बनता है।
- केराटोमालेशिया (keratomalacia)
- प्रजनन संबंधी समस्याएं (fertility issues)
- बच्चों में विकास में देरी, इत्यादि
(और पढ़े – बच्चों का वजन बढ़ाने और मोटा करने के उपाय और आहार…)
विटामिन ए के स्रोत – Vitamin A Source in Hindi
विटामिन ए के सबसे अच्छे स्रोतों में निम्न को शामिल किया जाता है, जैसे:
अंडा, दूध, गाजर, पालक, काले, पपीता, अंडे की जर्दी, दही, सोयाबीन और अन्य पत्तेदार हरी सब्जियां शामिल हैं।
रेटिनॉल (Retinals) के सबसे अच्छे स्रोत हैं:
- ऑर्गन मीट, जैसे लिवर
- वसायुक्त मछली, जैसे- हेरिंग और सैल्मन और मछली के तेल
- मक्खन, दूध और पनीर
- अंडे, इत्यादि।
कैरोटीनॉयड (Carotenoids) से भरपूर वनस्पति स्रोत निम्न हैं, जैसे:
- कद्दू, गाजर, स्क्वैश और अन्य नारंगी रंग की सब्जियां
- स्वीट पोटैटो
- नारंगी रंग के फल, जैसे कि पपीता और आम
बीटा-कैरोटीन (beta-carotene) से उच्च खाद्य पदार्थों में निम्न शामिल हैं:
- ब्रोकोली, पालक, शलजम साग, और अन्य पत्तेदार हरी सब्जियां
- तुरई (zucchini)
- काली मिर्च
(और पढ़े – मछली खाने के फायदे और नुकसान…)
विटामिन बी क्या है – Vitamin B in Hindi
बी विटामिन पानी में घुलनशील विटामिन का एक समूह है, जो कोशिका चयापचय और शरीर द्वारा सेवन किये गए भोजन से ऊर्जा प्राप्त करने के लिए उपयोग की जाने वाली प्रक्रिया में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। यह लाल रक्त कोशिकाओं के निर्माण में मदद करते हैं। विटामिन बी विभिन्न प्रकार के खाद्य पदार्थों जैसे मांस, साबुत अनाज और फलों से प्राप्त होता है। रासायनिक रूप से विटामिन बी (Vitamin B) मानव शरीर में अनेक रूपों में पाया जाता है, जो कि निम्न है:
विटामिन बी1 – Vitamin B1 in Hindi
विटामिन बी1 का रासायनिक नाम थियामिन (Thiamine) है। यह पानी में घुलनशील विटामिन है। शर्करा और अमीनो एसिड के संश्लेषण में विटामिन बी 1 (थियामिन) एक कोएंजाइम (coenzyme) के रूप में कार्य करता है।
(और पढ़े – विटामिन बी कॉम्प्लेक्स के फायदे, स्रोत और नुकसान…)
विटामिन बी1 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B1 ki kami se hone wali bimari in Hindi
विटामिन बी1 की कमी से बेरीबेरी (beriberi) और वेर्निक-कोर्साकोफ सिंड्रोम (Wernicke-Korsakoff syndrome) आदि रोग हो सकते हैं।
(और पढ़े – बेरीबेरी रोग क्या है कारण, लक्षण, और उपचार…)
विटामिन बी 1 के स्रोत – Vitamin B1 sources in hindi
विटामिन बी1 अच्छे स्रोतों में निम्न शामिल हैं:
- खमीर (yeast)
- सूअर का मांस (pork)
- अनाज के दाने
- सूरजमुखी के बीज
- ब्राउन राइस
- साबुत अनाज
- शतावरी (Asparagus)
- काले (kale)
- फूलगोभी
- आलू
- संतरे
- अंडे, इत्यादि।
(और पढ़े – ब्राउन राइस के फायदे और नुकसान…)
विटामिन बी 2 – Vitamin B2 in Hindi
विटामिन बी 2 का रासायनिक नाम राइबोफ्लेविन (Riboflavin) है। यह भी जल में घुलनशील विटामिन है।
विटामिन बी2 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B2 deficiency diseases in Hindi
विटामिन बी2 की कमी से निम्न रोग हो सकते हैं:
- एरीबोफ्लेविनोसिस (ariboflavinosis)
- ग्लोसाइटिस (glossitis)
- एंगुलर स्टोमाटाइटिस (angular stomatitis)
विटामिन बी 2 के स्रोत – Vitamin B2 sources in Hindi
विटामिन बी 2 के उत्तम स्रोतों में निम्न को शामिल किया जाता है, जैसे:
(और पढ़े – भिंडी खाना सेहत के लिए होता है फायदेमंद जाने इसके फायदे और नुकसान…)
विटामिन बी 3 – Vitamin B3 in Hindi
विटामिन बी 3 रासायनिक रूप से नियासिन (Niacin), नियासिनमाइड (niacinamide) के रूप में पाया जाता है। जो कोशिकाओं में ऊर्जा स्थानांतरण प्रतिक्रिया में योगदान देते हैं। यह जल में घुलनशील होता है।
विटामिन बी3 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B3 ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन बी3 की कमी निम्न प्रकार के रोगों का कारण बनती है, जैसे:
- पेलग्रा (pellagra)
- डायरिया
- डर्मेटाइटिस
- मानसिक अशांति (mental disturbance), इत्यादि।
(और पढ़े – पेलाग्रा रोग क्या है लक्षण कारण जांच इलाज बचाव और आहार…)
विटामिन बी 3 के स्रोत – Vitamin B3 sources in Hindi
विटामिन बी 3 के अच्छे स्रोत के रूप में निम्न को शामिल किया जाता है, जैसे:
- पशुमांस
- मछली (टूना, सैल्मन)
- दूध
- अंडे
- एवोकाडो
- खजूर
- टमाटर
- पत्तेदार सब्जिया
- ब्रोकोली
- गाजर
- शकरकंद
- शतावरी
- नट्स
- साबुत अनाज
- मशरूम, इत्यादि।
(और पढ़े – टमाटर के फायदे और नुकसान…)
विटामिन बी 5 – Vitamin B5 in Hindi
विटामिन बी 5 को रासायनिक रूप से पैंटोथेनिक एसिड (Pantothenic acid) के नाम से जाना जाता है। विटामिन बी 5 पानी में घुलनशील विटामिन है, जो कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन और लिपिड के चयापचय का कार्य करता है।
विटामिन बी5 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B5 ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन बी 5 की कमी से पेरेस्टेसिया (paresthesia) या “पिंस और नीडल्स” (pins and needles) हो सकती हैं।
विटामिन बी 5 के स्रोत – Vitamin B5 sources in Hindi
विटामिन बी 5 के उत्तम स्रोतों में निम्न आहार शामिल हैं:
- मीट
- साबुत अनाज
- ब्रोकोली
- एवोकाडो
- रॉयल जेली
- मछली अंडाशय, इत्यादि।
(और पढ़े – चिकन के फायदे और नुकसान…)
विटामिन बी 6 – Vitamin B6 in Hindi
विटामिन बी 6 को रासायनिक रूप में पाइरिडोक्सिन (Pyridoxine), पाइरिडोक्सामाइन (pyridoxamine), पाइरिडोक्सल (pyridoxal) आदि नामों से जाना जाता है। यह जल में घुलनशील है। पाइरिडोक्सल (pyridoxal), विटामिन बी 6 का सक्रिय रूप है, जो अमीनो एसिड, ग्लूकोज और लिपिड के चयापचय में कोएंजाइम की तरह कार्य करता है।
विटामिन बी6 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B6 ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन बी6 की कमी से निम्न रोग हो सकते हैं:
- एनीमिया (anemia)
- परिधीय न्यूरोपैथी (peripheral neuropathy) या मस्तिष्क और रीढ़ की हड्डी के अलावा तंत्रिका तंत्र के कुछ हिस्सों को नुकसान, इत्यादि।
(और पढ़े – क्या है एनीमिया? कारण, लक्षण और आहार…)
विटामिन बी6 के स्रोत – Vitamin B6 sources in Hindi
विटामिन बी6 के अच्छे स्रोतों के रूप में निम्न शामिल हैं, जैसे:
- मीट
- केले
- पिस्ता
- साबुत अनाज
- सब्जियाँ- आलू
- नट्स, इत्यादि।
(और पढ़े – पिस्ता खाने के फायदे और नुकसान…)
विटामिन बी 7 – Vitamin B7 in Hindi
विटामिन बी 7 का रासायनिक नाम बायोटिन (Biotin) है। विटामिन बी 7 जल में घुलनशील विटामिन बी का ही एक रूप है।
विटामिन बी 7 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B7 ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन बी 7 की कमी निम्न समस्याओं के उत्पन्न होने का कारण बनती है, जैसे:
- डर्मेटाइटिस (dermatitis)
- आंत्रशोथ या एन्टराइटिस (enteritis)
- बालों का झड़ना
- आंत की सूजन (inflammation of the intestine), इत्यादि।
(और पढ़े – बाल झड़ना कैसे रोकें, कारण और घरेलू उपाय…)
विटामिन बी 7 के स्रोत – Vitamin B7 sources in Hindi
विटामिन बी 7 के उच्च स्रोत हैं:
- अंडे की जर्दी (Egg yolk)
- यकृत या अंगों का मांस (Organ meat)
- कुछ सब्जियां, इत्यादि।
विटामिन बी 9 – Vitamin B9 in Hindi
विटामिन बी 9 का रासायनिक नाम फोलिक एसिड (Folic acid) या फोलिनिक एसिड, (folinic acid) है। यह डीएनए के संश्लेषण और डीएनए (DNA) के चयापचय के लिए महत्वपूर्ण है।
(और पढ़े – फोलिक एसिड क्या है, उपयोग (लाभ), साइड इफेक्ट्स, खाद्य पदार्थ और दैनिक मात्रा…)
विटामिन बी9 की कमी से होने वाले रोग – Vitamin B9 ki kami se hone wale rog in Hindi
गर्भावस्था के दौरान विटामिन बी 9 की कमी जन्म दोष (birth defects) का कारण बनती है। अतः गर्भावस्था के दौरान इस विटामिन की कमी मेगालोब्लास्टिक एनीमिया (Megaloblastic anemia) और न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट (neural tube defects) के उत्पन्न होने का कारण बनती है। इसलिए गर्भवती महिलाओं को गर्भवती होने से पहले पूरे वर्ष के दौरान फोलिक एसिड (विटामिन बी9) सप्लीमेंट लेने की सलाह दी जाती है।
(और पढ़े – गर्भावस्था के दौरान खाये जाने वाले आहार और उनके फायदे…)
विटामिन बी9 के स्रोत – Vitamin B9 sources in Hindi
विटामिन बी9 के उच्च स्रोतों में निम्न शामिल हैं:
- पत्तेदार सब्जियां
- फलियां (legumes)
- यकृत या अंगों का मांस
- खमीर (baker’s yeast)
- सूरजमुखी के बीज
- बीयर (beer) (शराब), इत्यादि।
विटामिन बी 12 – Vitamin B12 in Hindi
विटामिन बी 12 (Vitamin B12) का रासायनिक नाम कोबालामिन (cobalamin) है यह रासायनिक रूप में सायनोकोबालामिन (Cyanocobalamin), हाइड्रोक्सोकोबालामिन (hydroxocobalamin), मिथाइलकोबालामिन (methylcobalamin) के रूप में पाया जाता है। यह जल में घुलनशील है।
(और पढ़े – विटामिन बी12 के फायदे स्रोत और स्वास्थ्य लाभ…)
विटामिन बी12 की कमी से रोग – Vitamin B12 deficiency diseases in Hindi
विटामिन बी12 की कमी से मेगालोब्लास्टिक एनीमिया (megaloblastic anemia) हो सकता है, यह एक ऐसी स्थिति है जिसमें पीड़ित व्यक्ति का अस्थि मज्जा (bone marrow) असामान्य रूप से बड़े, असामान्य और अपरिपक्व लाल रक्त कोशिकाओं का उत्पादन करता है।
इसके अतिरिक्त विटामिन बी12 की कमी निम्न प्रकार की समस्याओं का भी कारण बनती है, जैसे
- पर्निशियस एनीमिया (Pernicious anemia)
- एट्रोफिक गैस्ट्र्रिटिस (Atrophic gastritis)
- छोटी आंत को प्रभावित करने वाले रोग जैसे- क्रोहन रोग, सीलिएक रोग, परजीवी संक्रमण
- प्रतिरक्षा प्रणाली में विकार उत्पन्न होने के कारण लुपस रोग (Lupus’s disease), इत्यादि।
(और पढ़े – क्रोहन (क्रोन) रोग क्या है, कारण, लक्षण, जांच, उपचार, रोकथाम और आहार…)
विटामिन बी 12 के स्रोत – Vitamin B12 sources in Hindi
विटामिन बी12 के अच्छे स्रोतों में निम्न शामिल हैं:
- मछली
- मांस
- मुर्गी
- अंडे
- दूध और डेयरी उत्पाद
- सोया उत्पाद, इत्यादि।
(और पढ़े – टोफू (सोया पनीर) के फायदे और नुकसान…)
विटामिन C क्या है – What is Vitamin C in hindi
विटामिन सी का रासायनिक नाम एस्कॉर्बिक एसिड (ascorbic acid) है। विटामिन C पानी में घुलनशील एक कार्बनिक यौगिक है, इसे मानव स्वास्थ्य के लिए बहुत आवश्यक पोषक तत्व की श्रेणी में रखा गया है। विटामिन सी वसा में अघुलनशील होने के कारण, इसका संचय शरीर में नहीं होता है। मानव शरीर में विटामिन सी के पर्याप्त स्तर को बनाए रखने के लिए दैनिक भोजन में विटामिन C युक्त आहार के पर्याप्त सेवन की आवश्यकता होती है।
विटामिन सी को उबालने या भोजन पकाने से या विकृत हो सकता है। यह एंटीऑक्सिडेंट, एंटी इंफ्लेमेटरी (anti-inflammatory) तथा एंटी बैक्टीरियल (antibacterial) गुणों से परिपूर्ण होता है।
(और पढ़े – विटामिन C क्या है, स्रोत, कमी के लक्षण, रोग, फायदे और नुकसान…)
विटामिन C की कमी से होने वाले रोग – vitamin c ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन C की कमी मुख्य रूप से स्कर्वी (Scurvy) रोग का कारण बनती है। विटामिन C की कमी से होने वाले रोग निम्न हैं, जैसे:
- स्कर्वी (Scurvy)
- मसूड़े की सूजन (Gingivitis) और दंत समस्याएं
- त्वचा की समस्याएं जैसे पेटीचिया (Petechiae) या पुरपुरा (Purpura)
- संक्रमण (Infections)
- कैंसर (cancer)
- आयरन की कमी से होने वाला एनीमिया (anemia) या मेगालोब्लास्टिक अनीमिया (megaloblastic anemia)
- अस्थमा (Asthma)
- नकसीर (nosebleeds),
- ऑस्टियोपोरोसिस और अस्थि समस्याएं (Osteoporosis And Bone Problems), इत्यादि।
(और पढ़े – ऑस्टियोपोरोसिस होने के कारण, लक्षण और बचाव…)
विटामिन सी के स्रोत – Sources of vitamin C in Hindi
विटामिन सी की सर्वाधिक उच्च मात्रा खट्टे फलों में पाई जाती है। विटामिन सी के उत्तम स्त्रोत के रूप में निम्न को शामिल किया जा सकता है:
- काले किशमिश (blackcurrants)
- कीवी फल (kiwifruit)
- ब्रोकोली
- लीची (Lychee)
- स्प्राउट्स (sprouts)
- टमाटर
- खट्टे फल जैसे- संतरे, नीबू
- जामुन (berries)
- गोभी
- स्ट्रॉबेरीज
- अमरूद (Guava)
- शिमला मिर्च (capsicum)
- पपीता, इत्यादि।
(और पढ़े – विटामिन सी की कमी दूर करने के लिए ये खाद्य पदार्थ…)
विटामिन D क्या है – What is Vitamin D in Hindi
विटामिन डी, वसा में घुलनशील एक महत्वपूर्ण खनिज है, जो शरीर द्वारा त्वचा के सीधे सूर्य प्रकाश के संपर्क में आने से निर्मित किया जाता है। सूर्य प्रकाश विटामिन डी का सबसे अच्छा प्राकृतिक स्रोत हैं। इसे “सनशाइन विटामिन” के नाम से भी जाना जाता है। मानव शरीर में यकृत (liver) द्वारा त्वचा या भोजन से प्राप्त होने वाले विटामिन डी को 25-हाइड्रॉक्सीविटामिन डी नामक रसायन के रूप में भंडारण करके रखा जाता है। यह मानव शरीर के लिए अनेक प्रकार से लाभदायक होता है। विटामिन डी की कमी से हड्डियां कमजोर हो जाती हैं, जिसके कारण रिकेट्स तथा अन्य गंभीर समस्याएँ उत्पन्न होती है। मानव शरीर विटामिन D को अधिक समय तक स्टोर करके नहीं रख पाता है। अतः प्रत्येक मनुष्य को प्रतिदिन एक निश्चित मात्रा में विटामिन D के सेवन पर ध्यान देने की आवश्यकता होती है।
विटामिन डी सामान्यतः दो रूपों में पाया जाता है-
- विटामिन डी 2 जिसका रासायनिक नाम एर्गोकैल्सिफेरोल (ergocalciferol) है
- विटामिन डी 3, जिसका रासायनिक नाम कॉलेकैल्सिफेरॉल (cholecalciferol) है
(और पढ़े – विटामिन D क्या है, स्रोत, कमी के लक्षण, रोग, फायदे और नुकसान…)
विटामिन D की कमी से होने वाले रोग – Vitamin D ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन डी की कमी अनेक प्रकार के रोगों के उत्पन्न होने का कारण बन सकती हैं, जिनमें शामिल हैं:
- रिकेट्स (rickets)
- हड्डियों की कमजोरी या ऑस्टियोपोरोसिस (osteoporosis)
- दिल के दौरे
- अवसाद (depression)
- बच्चों में अस्थमा
- प्रीक्लेम्पसिया (preeclampsia)
- मधुमेह की समस्या उत्पन्न होना
- फाइब्रोमायल्जिया (fibromyalgia)
- क्रोनिक फेटीग सिंड्रोम (chronic fatigue syndrome)
- न्यूरोडीजेनेरेटिव (neurodegenerative) रोग, जैसे कि अल्जाइमर रोग (Alzheimer’s disease)
- विटामिन डी की कमी कुछ कैंसर जैसे कि स्तन कैंसर, प्रोस्टेट कैंसर और पेट के कैंसर के विकास में भी योगदान कर सकती है।
(और पढ़े – खाएं ये चीजें, नहीं होगा ब्रेस्ट कैंसर…)
विटामिन D स्रोत – Vitamin D Sources in Hindi
विटामिन डी को भोजन या पूरक आहार (supplements) के रूप में भी ग्रहण किया जा सकता है। सूर्य प्रकाश को विटामिन D का एक उत्तम स्रोत माना जाता है, लेकिन अनेक प्रकार की समस्याएँ केवल सूर्य प्रकाश के माध्यम से पर्याप्त मात्रा में विटामिन डी प्राप्त करना असंभव हो सकता है। अतः कोई भी व्यक्ति सनशाइन के आलावा विटामिन D का पर्याप्त सेवन करने के लिए निम्न स्रोतों का उपयोग कर सकता है, जिनमें शामिल हैं:
- झींगा और सैल्मन मछली
- संतरे का रस
- दूध
- मशरूम
- अनाज
- अंडे
- कॉड लिवर तेल
- दही, इत्यादि।
(और पढ़े – विटामिन डी वाले आहार की जानकरी…)
विटामिन ई क्या है – Vitamin E in Hindi
विटामिन E को रासायनिक रूप से टोकोफेरोल्स (Tocopherols) और टोकोट्रिनोल (tocotrienols) के रूप में जाना जाता है। अल्फ़ा टोकोफेरॉल (Alpha tocopherol) विटामिन E का सबसे आम और सबसे शक्तिशाली रूप है।
यह वसा में घुलनशील है। विटामिन ई मानव शरीर में एंटीऑक्सिडेंट की भूमिका अदा करता है, शरीर में फ्री रेडिकल की क्रिया को रोकने में महत्वपूर्ण है, जो विशिष्ट वसा को क्षति पहुंचाते हैं। यह स्वस्थ त्वचा के रखरखाव के साथ उम्र बढ़ने की गति को धीमा कर सकता है। कोलेस्ट्रॉल को संतुलित रखने में भी यह महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है।
(और पढ़े – विटामिन ई कैप्सूल के फायदे चेहरे बाल और स्किन को गोरा बनाने के लिए…)
विटामिन ई की कमी से होने वाले रोग – Vitamin E ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन ई की कमी निम्न रोगों को उत्पन्न होने का कारण बनती है:
- हेमोलिटिक एनीमिया (hemolytic anemia)
- न्यूरोमस्कुलर रोग जैसे कि स्पिनोसेरेबेलर अटैक्सिया (spinocerebellar ataxia) और मायोपैथी (myopathies) ।
- न्यूरोलॉजिकल समस्याएं जैसे- डिसरथ्रिया (dysarthria),
- रेटिनोपैथी (Retinopathy)
- प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया की हानि, इत्यादि
विटामिन ई के स्रोत – Vitamin E sources in Hindi
विटामिन ई के अच्छे स्रोतों में निम्न को शामिल किया जाता है:
- कीवी फल
- अंडे
- दूध
- नट्स
- बादाम, मूंगफली
- एवोकैडो
- पत्तेदार हरी सब्जियां
- बिना गर्म किए हुए वनस्पति तेल
- गेहूं के बीज
- साबुत अनाज, इत्यादि।
(और पढ़े – जानिये विटामिन ई के स्रोत और स्वास्थ्य लाभ…)
विटामिन K क्या है – What is Vitamin K in Hindi
विटामिन K वसा में घुलनशील एक आवश्ययक पोषक तत्व है, जो मानव शरीर में रक्त का थक्का ज़माने में मदद करता है। यह रासायनिक तौर पर दो रूपों में पाया जाता है:
विटामिन K1, जिसे रासायनिक रूप से फिलोक्विनोन (phylloquinone) के नाम से जाना जाता है। विटामिन K1 पत्तेदार साग और कुछ अन्य सब्जियों से प्राप्त होता है।
विटामिन K2, जो रासायनिक रूप में मेनक्विनोन (menaquinone) है। यह मीट, पनीर (cheeses), अंडे और एनी पशु आधारित उत्पाद से प्राप्त होता है।
विटामिन K आमतौर पर रक्त के थक्के सम्बन्धी विकारों, हड्डी के चयापचय (bone metabolism) और रक्त कैल्शियम के स्तर को नियंत्रित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। चिकित्सकों का मानना है कि विटामिन K सीधे तौर पर ऑस्टियोपोरोसिस (osteoporosis) और उच्च रक्तचाप (hypertension) से लेकर वैरिकाज़ नसों (varicose veins) और रोजेशिया (rosacea) तक की चिकित्सकीय स्थितियों को भी प्रभावित कर सकता है। व्यक्ति खरोंच, निशान, खिंचाव के निशान (stretch marks) और जलन से राहत पाने के लिए त्वचा पर सामयिक क्रीम (topical cream) के रूप में विटामिन K का प्रयोग कर सकते हैं।
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विटामिन के की कमी से होने वाले रोग – Vitamin K ki kami se hone wale rog in Hindi
विटामिन K की कमी मुख्य रूप से असामान्य रक्त स्त्राव का कारण बनती है। इसके अतिरिक्त विटामिन K की कमी अनेक प्रकार के रोगों को जन्म देने के लिए उत्तरदाई हो सकती है, जिनमें शामिल हैं:
- ऑस्टियोपोरोसिस (osteoporosis)
- रोजेशिया (rosacea)
- हृदय रोग (heart disease)
- बिलियरी सिरोसिस (biliary cirrhosis)
- हड्डी के नुकसान (bone loss)
- हड्डियों में फ्रैक्चर जैसे- स्पाइनल फ्रैक्चर (spinal fractures), हिप फ्रैक्चर (hip fractures) और नॉन-स्पाइनल फ्रैक्चर (non-spinal fractures)
- लीवर कैंसर, फेफड़ों का कैंसर, स्तन कैंसर इत्यादि।
(और पढ़े – फ्रैक्चर (हड्डी टूटना) क्या होता है, लक्षण, कारण, प्रकार, जांच और इलाज…)
विटामिन के के स्रोत – Vitamin k sources in Hindi
शरीर में विटामिन K की पूर्ति आहार या खाद्य पदार्थों के माध्यम से की जाती है। इसे सप्लीमेंट के रूप में भी प्राप्त किया जा सकता है। पत्तेदार हरी सब्जियों में विटामिन K1 की मात्रा सर्वाधिक होती है, इसके अतिरिक्त विटामिन K के उच्चतम स्त्रोतों में निम्न को शामिल किया जा सकता है, जैसे:
- पालक
- ब्रोकोली
- गोभी
- काले (kale)
- शलजम (turnip green)
- शतावरी (asparagus)
- ब्रसेल्स स्प्राउट्स
- वनस्पति तेल
- डेयरी उत्पाद
- अनाज
- सोयाबीन, इत्यादि।
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हर एक चीज का बिलकुल सही तरीके से समझाने के लिए बहुत बहुत धन्यावाद।
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